Read the New Testament in 24 Weeks
एक चिन्हां देखाय के मांग
(मरकुस 8:11-13; लूका 12:54-56)
16 फरीसी अऊ सदूकी मन यीसू करा आईन अऊ ओला परखे खातिर ओकर ले पुछिन, “हमन ला स्वरग ले कोनो चिन्हां देखा।”
2 यीसू ह ओमन ला जबाब दीस, “जब संझा होथे, त तुमन कहिथव कि मौसम ह साफ रहिही, काबरकि अकास म लाली हवय, 3 अऊ बिहनियां के बखत तुमन कहिथव कि आज गर्रा आही, काबरकि अकास म लाली हवय अऊ बादर छाय हवय। तुमन ह अकास के चिन्हां ला देखके, मौसम के बारे म बता देथव, पर तुमन समय के चिन्हां के बारे नइं बता सकव। 4 ए दुस्ट अऊ बेभिचारी पीढ़ी के मनखेमन अचरज के चिन्हां खोजथें, पर योना अगमजानी के चिन्हां के छोंड़, एमन ला अऊ कुछू चिन्हां नइं दिये जावय।”[a] तब यीसू ह ओमन ला छोंड़के चल दीस।
फरीसी अऊ सदूकी मन के खमीर
(मरकुस 8:14-21)
5 जब ओमन झील के ओ पार गीन, त चेलामन अपन संग रोटी लाने बर भुला गे रिहिन। 6 यीसू ह ओमन ला कहिस, “फरीसी अऊ सदूकी मन के खमीर ले सचेत रहव।”
7 ओमन आपस म ए बात ला बिचार करिन अऊ कहिन, “हमन रोटी नइं लाने हवन, एकरसेति ओह अइसने कहत हवय।”
8 ओमन के बिचार ला जानके, यीसू ह ओमन ला कहिस, “हे अल्प बिसवासीमन हो! तुमन ए काबर गोठियावत हव कि तुम्हर करा रोटी नइं ए? 9 का तुमन अभी तक ले नइं समझेव? पांच हजार मनखेमन बर पांच ठन रोटी के बात, का तुमन सुरता नइं करत हव, अऊ कतेक ठन टुकना भरके तुमन संकेले रहेव? 10 या फेर ओ चार हजार मनखेमन बर सात ठन रोटी के बात, का तुमन ला सुरता नइं ए, अऊ कतेक ठन टुकना भरके तुमन संकेले रहेव? 11 तुमन ए काबर नइं समझव कि मेंह तुमन ला रोटी के बारे म नइं कहत रहेंव? पर तुमन ला फरीसी अऊ सदूकी मन के खमीर ले सचेत रहे बर कहत रहेंव।”
12 तब ओमन समझिन कि यीसू ह ओमन ला रोटी के खमीर के बारे म नइं गोठियावत रिहिस, पर ओह ओमन ला फरीसी अऊ सदूकी मन के सिकछा ले सचेत रहे बर कहत रिहिस।
पतरस ह यीसू ला मसीह मान लेथे
(मरकुस 8:27-30; लूका 9:18-21)
13 जब यीसू ह कैसरिया-फिलिप्पी के सीमना म आईस, त ओह अपन चेलामन ले पुछिस, “मनखेमन मनखे के बेटा ला कोन ए, कहिथें?”
14 ओमन ह कहिन, “कुछू मनखेमन कहिथें कि ओह यूहन्ना बतिसमा देवइया अय; कुछू मन एलियाह अय, कहिथें; अऊ कुछू मनखेमन कहिथें कि ओह यरमियाह या अगमजानीमन ले एक झन अय।”
15 यीसू ह ओमन ले पुछिस, “पर तुमन मोला कोन ए, कहत हव?”
16 सिमोन पतरस जबाब दीस, “तेंह जीयत परमेसर के बेटा – मसीह अस।”
17 यीसू ह ओला कहिस, “सिमोन, योना के बेटा! धइन अस तेंह, काबरकि ए बात तोला कोनो मनखे ह नइं बताय हवय, पर मोर ददा जऊन ह स्वरग म हवय, ए बात तोर ऊपर उजागर करे हवय। 18 अऊ मेंह तोला कहत हंव कि तेंह पतरस अस, अऊ ए चट्टान ऊपर मेंह अपन कलीसिया बनाहूं, अऊ पाताल-लोक के सक्तिमन एकर ऊपर जय नइं पा सकंय[b]। 19 मेंह तोला स्वरग राज के चाबीमन ला दूहूं। जऊन कुछू तेंह धरती ऊपर बांधबे, ओह स्वरग म बंधाही, अऊ जऊन कुछू तेंह धरती ऊपर खोलबे, ओह स्वरग म खुलही।”[c] 20 तब यीसू ह अपन चेलामन ला ए चेतउनी दीस, “तुमन कोनो ला, ए झन बतावव कि मेंह मसीह अंव।”
यीसू ह अपन मिरतू के बारे म अगमबानी करथे
(मरकुस 8:31-33; लूका 9:22)
21 ओ समय ले यीसू ह अपन चेलामन ला ए बताय लगिस, “एह जरूरी अय कि मेंह यरूसलेम जावंव अऊ यहूदीमन के अगुवा, मुखिया पुरोहित अऊ कानून के गुरू मन के हांथ म ले बहुंते दुःख भोगंव; अऊ मार डारे जावंव; अऊ तीसरा दिन जी उठंव।”
22 पतरस ह यीसू ला अलग ले गीस अऊ ओला ए कहिके डांटे लगिस, “परमेसर ह अइसने झन करय, परभू! तोर संग ए बात कभू झन होवय।”
23 यीसू ह पतरस कोति मुड़ के कहिस, “मोर नजर ले दूर हट, सैतान! तेंह मोर रसता म एक बाधा अस। तोर मन म परमेसर के बात नइं, पर मनखेमन के बात हवय।”
24 तब यीसू ह अपन चेलामन ला कहिस, “यदि कोनो मोर चेला बने चाहत हवय, त ओह अपन-आप के इनकार करय, अऊ अपन कुरुस ला उठाके, मोर पाछू हो लेवय। 25 काबरकि जऊन ह अपन परान ला बचाय चाहथे, ओह ओला गंवाही; पर जऊन ह मोर खातिर अपन परान ला गंवाथे, ओह ओला बचाही। 26 यदि मनखे ह जम्मो संसार ला पा जाथे, पर अपन परान ला गंवा देथे, त ओला का फायदा? या मनखे ह अपन परान के बदले म का दे सकथे? 27 काबरकि मनखे के बेटा ह अपन स्वरगदूतमन के संग अपन ददा के महिमा म अवइया हवय, अऊ तब ओह हर एक मनखे ला ओकर काम के मुताबिक इनाम दिही। 28 मेंह तुमन ला सच कहत हंव कि जऊन मन इहां ठाढ़े हवंय, ओमन म कुछू झन अइसने हवंय कि ओमन तब तक नइं मरंय, जब तक कि ओमन मनखे के बेटा ला ओकर राज म आवत नइं देख लिहीं।”
यीसू के रूपान्तरन
(मरकुस 9:2-13; लूका 9:28-36)
17 छै दिन के बाद यीसू ह पतरस, याकूब अऊ याकूब के भाई यूहन्ना ला अपन संग लीस अऊ ओमन ला अकेला एक ऊंचहा पहाड़ म ले गीस। 2 उहां ओमन के आघू म यीसू के रूप ह बदल गीस। ओकर चेहरा ह सूरज सहीं चमकत रहय अऊ ओकर कपड़ा ह अंजोर सहीं पंडरा हो गीस। 3 तब उहां चेलामन के आघू म मूसा अऊ एलियाह परगट होईन अऊ ओमन यीसू के संग गोठियावत रिहिन।
4 पतरस ह यीसू ला कहिस, “हे परभू, एह बने बात अय कि हमन इहां हवन। यदि तोर ईछा हवय, त मेंह इहां तीन ठन तम्बू बनावत हंव – एक ठन तोर बर, एक मूसा बर अऊ एक एलियाह बर।”
5 जब ओह गोठियावत रिहिस, त एक चमकिला बादर ह ओमन के ऊपर छा गीस, अऊ ओ बादर ले ए अवाज आईस, “एह मोर मयारू बेटा अय। मेंह एकर ले बहुंत खुस हवंव। एकर बात ला सुनव।”
6 एला सुनके चेलामन मुहूं के भार भुइयां म गिरिन अऊ ओमन बहुंत डर्रा गीन। 7 पर यीसू ह आईस अऊ ओमन ला छुके कहिस, “उठव, झन डर्रावव।” 8 जब ओमन ऊपर देखिन, त ओमन ला यीसू के छोंड़ अऊ कोनो नइं दिखिस।
9 जब ओमन पहाड़ ले उतरत रिहिन, त यीसू ह ओमन ला हुकूम दीस, “जब तक मनखे के बेटा ह मरे म ले नइं जी उठय, तब तक तुमन जऊन कुछू देखे हवव, ओ बात कोनो ला झन बतावव।”
10 तब चेलामन ओकर ले पुछिन, “त फेर कानून के गुरूमन काबर कहिथें कि पहिली एलियाह के अवई जरूरी अय।”
11 यीसू ह जबाब दीस, “एलियाह ह जरूर आवत हवय अऊ ओह जम्मो चीज ला ठीक करही। 12 पर मेंह तुमन ला कहथंव कि एलियाह ह आ चुके हवय अऊ मनखेमन ओला नइं चिनहिन। पर ओमन जइसने चाहिन, वइसने ओकर संग मनमाना बरताव करिन।” 13 तब चेलामन समझिन कि यीसू ह ओमन ले यूहन्ना बतिसमा देवइया के बारे म कहत रिहिस।
यीसू ह मिरगी के रोगी एक छोकरा ला चंगा करथे
(मरकुस 9:14-29; लूका 9:37-43)
14 जब ओमन भीड़ करा आईन, त एक मनखे ह यीसू करा आईस अऊ ओकर आघू म माड़ी टेकके कहिस, 15 “हे परभू! मोर बेटा ऊपर दया कर। ओला मिरगी आथे अऊ ओकर कारन बहुंत दुःख झेलथे। ओह अक्सर आगी या पानी म गिर जाथे। 16 मेंह ओला तोर चेलामन करा लानेंव, पर ओमन ओला ठीक नइं कर सकिन।”
17 यीसू ह कहिस, “हे अबिसवासी अऊ ढीठ मनखेमन! मेंह कब तक तुम्हर संग रहिहूं? कब तक मेंह तुम्हर सहत रहिहूं? लड़का ला इहां मोर करा लानव।” 18 यीसू ह परेत आतमा ला दबकारिस अऊ ओह ओम ले निकर गीस, अऊ ओ छोकरा ह ओहीच बखत ठीक हो गीस।
19 तब चेलामन यीसू करा अकेला म आईन अऊ पुछिन, “हमन ओला काबर नइं निकार सकेंन?”
20 यीसू ह ओमन ला कहिस, “काबरकि तुम्हर बहुंत कम बिसवास हवय। मेंह तुमन ला सच कहत हंव कि यदि तुम्हर बिसवास ह सरसों के दाना के बरोबर घलो हवय, अऊ तुमन ए पहाड़ ले कहव, ‘इहां ले घुंच के उहां चले जा,’ त ओह घुंच जाही। तुम्हर बर कोनो घलो बात असंभव नइं होही। 21 पर ए किसम के परेत आतमा ह सिरिप पराथना अऊ उपास के दुवारा निकरथे।”
22 जब चेलामन गलील प्रदेस म जुरिन, त यीसू ह ओमन ला कहिस, “मनखे के बेटा ह मनखेमन के हांथ म पकड़वाय जाही। 23 ओमन ओला मार डारहीं, पर तीसरा दिन ओह जी उठही।” एला सुनके चेलामन बहुंत उदास होईन।
मंदिर के लगान
24 जब यीसू अऊ ओकर चेलामन कफरनहूम म आईन, त मंदिर के लगान लेवइयामन पतरस करा आईन अऊ पुछिन, “का तुम्हर गुरू ह मंदिर के लगान नइं पटावय?”
25 ओह कहिस, “हव, ओह पटाथे।” जब पतरस ह घर के भीतर आईस, त ओकर पुछे के पहिली यीसू ह कहिस, “हे सिमोन, तेंह का सोचथस? ए धरती के राजामन काकर ले लगान लेथें? अपन खुद के बेटामन ले या आने मन ले?”
26 पतरस ह कहिस, “आने मन ले।”
यीसू ह ओला कहिस, “तब तो बेटामन ला लगान पटाय बर नइं पड़य। 27 पर हमन ओमन ला ठेस पहुंचाय नइं चाहथन, एकरसेति तेंह झील म जा अऊ अपन गरी ला खेल। जऊन मछरी पहिली फंसही, ओला पकड़बे अऊ ओकर मुहूं ला खोलबे, त तोला उहां एक ठन सिक्का मिलही। ओला लेके मोर अऊ तुम्हर तरफ ले ओमन ला लगान पटा देबे।”
Copyright: New Chhattisgarhi Translation (नवां नियम छत्तीसगढ़ी) Copyright © 2012, 2016 by Biblica, Inc.® All rights reserved worldwide.