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Revised Common Lectionary (Semicontinuous)

Daily Bible readings that follow the church liturgical year, with sequential stories told across multiple weeks.
Duration: 1245 days
Hindi Bible: Easy-to-Read Version (ERV-HI)
Version
भजन संहिता 144:9-15

हे यहोवा, मैं नया गीत गाऊँगा तेरे उन अद्भुत कर्मो का तू जिन्हें करता है।
    मैं तेरा यश दस तार वाली वीणा पर गाऊँगा।
10 हे यहोवा, राजाओं की सहायता उनके युद्ध जीतने में करता है।
    यहोवा वे अपने सेवक दाऊद को उसके शत्रुओं के तलवारों से बचाया।
11 मुझको इन परदेशियों से बचा ले।
    ये शत्रु झूठे हैं,
    ये बातें बनाते हैं जो सच नहीं होती।

12 यह मेरी कामना है: पुत्र जवान हो कर विशाल पेड़ों जैसे मजबूत हों।
    और मेरी यह कामनाहै हमारी पुत्रियाँ महल की सुन्दर सजावटों सी हों।
13 यह मेरी कामना है
    कि हमारे खेत हर प्रकार की फसलों से भरपूर रहें।
    यह मेरी कामना है
कि हमारी भेड़े चारागाहों में
    हजारों हजार मेमने जनती रहे।
14     मेरी यह कामना है कि हमारे पशुओं के बहुत से बच्चे हों।
यह मेरी कामना है कि हम पर आक्रमण करने कोई शत्रु नहीं आए।
    यह मेरी कामना है कभी हम युद्ध को नहीं आए।
और मेरी यह कामना है कि हमारी गलियों में भय की चीखें नहीं उठें।

15 जब ऐसा होगा लोग अति प्रसन्न होंगे।
    जिनका परमेश्वर यहोवा है, वे लोग अति प्रसन्न रहते हैं।

श्रेष्ठगीत 5:2-6:3

स्त्री का वचन

मैं सोती हूँ
    किन्तु मेरा हृदय जागता है।
मैं अपने हृदय—धन को द्वार पर दस्तक देते हुए सुनती हूँ।
    “मेरे लिये द्वार खोलो मेरी संगिनी, ओ मेरी प्रिये! मेरी कबूतरी, ओ मेरी निर्मल!
    मेरे सिर पर ओस पड़ी है
    मेरे केश रात की नमी से भीगें हैं।”

“मैंने निज वस्त्र उतार दिया है।
    मैं इसे फिर से नहीं पहनना चाहती हूँ।
मैं अपने पाँव धो चुकी हूँ,
    फिर से मैं इसे मैला नहीं करना चाहती हूँ।”

मेरे प्रियतम ने कपाट की झिरी में हाथ डाल दिया,
    मुझे उसके लिये खेद हैं।
मैं अपने प्रियतम के लिये द्वार खोलने को उठ जाती हूँ।
    रसगंध मेरे हाथों से
    और सुगंधित रसगंध मेरी उंगलियों से ताले के हत्थे पर टपकता है।
अपने प्रियतम के लिये मैंने द्वार खोल दिया,
    किन्तु मेरा प्रियतम तब तक जा चुका था!
जब वह चला गया
    तो जैसे मेरा प्राण निकल गया।
मैं उसे ढूँढती फिरी
    किन्तु मैंने उसे नहीं पाया;
मैं उसे पुकारती फिरी
    किन्तु उसने मुझे उत्तर नहीं दिया!
नगर के पहरुओं ने मुझे पाया।
    उन्होंने मुझे मारा
    और मुझे क्षति पहुँचायी।
नगर के परकोटे के पहरुओं ने
    मुझसे मेरा दुपट्टा छीन लिया।

यरूशलेम की पुत्रियों, मेरी तुमसे विनती है
    कि यदि तुम मेरे प्रियतम को पा जाओ तो उसको बता देना कि मैं उसके प्रेम की भूखी हूँ।

यरूशलेम की पुत्रियों का उसको उत्तर

क्या तेरा प्रिय, औरों के प्रियों से उत्तम है स्त्रियों में तू सुन्दरतम स्त्री है।
क्या तेरा प्रिय, औरों से उत्तम है
    क्या इसलिये तू हम से ऐसा वचन चाहती है

यरूशलेम की पुत्रियों को उसको उत्तर

10 मेरा प्रियतम गौरवर्ण और तेजस्वी है।
    वह दसियों हजार पुरुषों में सर्वोत्तम है।
11 उसका माथा शुद्ध सोने सा,
    उसके घुँघराले केश कौवे से काले अति सुन्दर हैं।
12 ऐसी उसकी आँखे है जैसे जल धार के किनारे कबूतर बैठे हों।
    उसकी आँखें दूध में नहाये कबूतर जैसी हैं।
    उसकी आँखें ऐसी हैं जैसे रत्न जड़े हों।
13 गाल उसके मसालों की क्यारी जैसे लगते हैं,
    जैसे कोई फूलों की क्यारी जिससे सुगंध फैल रही हो।
उसके होंठ कुमुद से हैं
    जिनसे रसगंध टपका करता है।
14 उसकी भुजायें सोने की छड़ जैसी है
    जिनमें रत्न जड़े हों।
उसकी देह ऐसी हैं
    जिसमें नीलम जड़े हों।
15 उसकी जाँघे संगमरमर के खम्बों जैसी है
    जिनको उत्तम स्वर्ण पर बैठाया गया हो।
उसका ऊँचा कद लबानोन के देवदार जैसा है
    जो देवदार वृक्षों में उत्तम हैं!
16 हाँ, यरूशलेम की पुत्रियों, मेरा प्रियतम बहुत ही अधिक कामनीय है,
    सबसे मधुरतम उसका मुख है।
ऐसा है मेरा प्रियतम,
    मेरा मित्र।

यरूशलेम की पुत्रियों का उससे कथन

स्त्रियों में सुन्दरतम स्त्री,
    बता तेरा प्रियतम कहाँ चला गया
किस राह से तेरा प्रियतम चला गया है
    हमें बता ताकि हम तेरे साथ उसको ढूँढ सके।

यरूशलेम की पुत्रियों को उसका उत्तर

मेरा प्रिय अपने उपवन में चला गया,
    सुगंधित क्यारियों में,
उपवन में अपनी भेड़ चराने को
    और कुमुदिनियाँ एकत्र करने को।
मैं हूँ अपने प्रियतम की
    और वह मेरा प्रियतम है।
वह कुमुदिनियों के बीच चराया करता है।

1 पतरस 2:19-25

19 क्योंकि यदि कोई परमेश्वर के प्रति सचेत रहते हुए यातनाएँ सहता है और अन्याय झेलता है तो वह प्रशंसनीय है। 20 किन्तु यदि बुरे कर्मो के कारण तुम्हें पीटा जाता है और तुम उसे सहते हो तो इसमें प्रशंसा की क्या बात है। किन्तु यदि तुम्हें तुम्हारे अच्छे कामों के लिए सताया जाता है तो परमेश्वर के सामने वह प्रशंसा के योग्य है। 21 परमेश्वर ने तुम्हें इसलिए बुलाया है क्योंकि मसीह ने भी हमारे लिए दुःख उठाये हैं और ऐसा करके हमारे लिए एक उदाहरण छोड़ा है ताकि हम भी उसी के चरण चिन्हों पर चल सकें।

22 “उसने कोई पाप नहीं किया
    और न ही उसके मुख से कोई छल की बात ही निकली।”(A)

23 जब वह अपमानित हुआ तब उसने किसी का अपमान नहीं किया, जब उसने दुःख झेले, उसने किसी को धमकी नहीं दी, बल्कि उस सच्चे न्याय करने वाले परमेश्वर के आगे अपने आपको अर्पित कर दिया। 24 उसने क्रूस पर अपनी देह में हमारे पापों को ओढ़ लिया। ताकि अपने पापों के प्रति हमारी मृत्यु हो जाये और जो कुछ नेक है उसके लिए हम जीयें। यह उसके उन घावों के कारण ही हुआ जिनसे तुम चंगे किये गये हो। 25 क्योंकि तुम भेड़ों के समान भटक रहे थे किन्तु अब तुम अपने गड़रिये और तुम्हारी आत्माओं के रखवाले के पास लौट आये हो।

Hindi Bible: Easy-to-Read Version (ERV-HI)

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