Old/New Testament
3 इ सबइ बातन मइँ तू पचन्क बतावत हउँ, तू पचे समुझ ल्य। सर्वसक्तिसाली यहोवा सुआमी, ओन सबहिं वस्तुअन क छोरि लेइ जेन पइ यहूदा अउ यरूसलेम निर्भर रहत हीं। परमेस्सर समूचइ भोजन अउ जल भी छोरि लेइ। 2 परमेस्सर सबहिं नायकन अउ महाजोधन क छोरि लेइ। सबहिं निआवा धीसन, भविस्सवक्तन, जूतिसियन अउ बुजुर्गन क परमेस्सर छोरि लेइ। 3 परमेस्सर सेनानायकन अउर प्रसासनिक नेतन क छोरि लेइ। परमेस्सर सलाहकारन अउर ओन बुद्धिमान क छोरि लेइ जउन जादू करत हीं अउर भविस्स बतावइ क जतन करत हीं।
4 परमेस्सर कहत ह, “मइँ जवान बच्चन क ओनका नेता बनाइ देबउँ। बच्चन ओन पइ राज्ज करिहीं। 5 हर मनई आपुस मँ एक दूसर क बिरुद्ध होइ जाइ। नवयुवक बड़के बूढ़न क आदर नाहीं करिहीं। साधारण लोग महत्वपूर्ण लोगन क आदर नाहीं देइहीं।”
6 उ समय, आपन ही परिवारे स कउनो मनई आपन ही कउनो भाई क धरि लेइ। उ मनई आपन भाई स कही, “काहेकि तोहरे लगे एक ठु ओढ़नाबा, तउ तू हमार नेता होब्या। एन सबहिं खण्डरहन क तू नेता बनिजा।”
7 किन्तु उ भाई ठाड़ होइके कही, “मइँ तू पचन्क सहारा नाहीं दइ सकत। मोरे घरे काफी भोजन अउ ओढ़ना नाहीं बाटइ। तू मोका आपन मुखिया नाहीं बनउब्या।”
8 अइसा एह बरे होइ काहेकि यरूसलेम ठोकर खाएस अउर उ बुरा किहस। यहूदा क पतन होइ गवा अउर उ परमेस्सर क अनुसरण करब तजि दिहस। उ पचे जउन कहत हीं अउर जउन करत हीं उ यहोवा क खिलाफ अहइ। उ पचे यहोवा क महिमा बरे विद्रोह किहन।
9 लोगन क चेहरन पइ जउन भाव अहइँ ओनसे साफ देखाइँ देत ह कि उ सबइ बुरा करम करइ क अपराधी अहइँ। किन्तु उ पचे एन अपराधन क छुपावत नाहीं अहइ, बल्कि ओन पइ गर्व करत भए आपन पापन क डोंडी पीटत हीं। उ पचे ढीठ अहइँ। उ पचे सदोम नगरी क लोगन जइसे अहइँ। ओनका इ बात क परवाह नाहीं अहइ कि ओनके पापे क कउन लखत अहइ। इ ओनके बरे बहोत बुरा होइ। आपन ऊपर ऍतनी बड़की विपद उ पचे खुद बोलाएन ह।
10 अच्छे लोगन क बताइ द्या कि ओनके संग अच्छी बातन घटिहीं। जउन नीक करम उ पचे करत हीं, ओनकर सुफल उ पचे पइहीं। 11 किन्तु बुरे लोगन बरे इ बहोत बुरा होइ। ओन पइ बड़ी विपद टूट पड़ी। जउन बुरे करम उ पचे किहेन ह, ओन सबन बरे ओनका सजा दीन्ह जाइ। 12 मोर लोगन क बच्चन बेरहमी स सतइहीं। ओन पइ मेहररूअन राज करिहीं। हे मोर लोगो, तोहार पचन्क अगुआ तू पचन्क बुरे राहन पइ लइ जइहीं। सही मारग स उ पचे तू पचन्क भटकाइ देइहीं।
आपन लोगन क बारे मँ परमेस्सर क निर्णय
13 यहोवा आपन लोगन क विरोध मँ मुकदमा लड़इ बरे खड़ा होइ। उ आपन लोगन क निआव करइ बरे खड़ा होइ। 14 बुजुर्गन अउ अगुवा लोग जउन काम किहेन ह यहोवा ओनके बिरुद्ध मुकदमा चलाइ।
यहोवा कहत ह, “तू लोग अंगूरे क बागन क (यहूदा क) बारि डाया ह। तू पचे गरीब लोगन क चिजियन क लइ लिहा अउर उ सबइ वस्तुअन अबहिं भी तोहरे पचन्क घरन मँ अहइँ। 15 मोरे लोगन क सतावइ क अधिकार तू पचन्क कउन दिहस? गरीब लोगन क मुँहे क बल धूरि मँ ढकेलइ क अधिकार तू पचन्क कउन दिहस?” मोर सुआमी, सर्वसक्तीमान यहोवा इ सबइ बातन कहे रहा।
16 यहोवा कहत ह, “सिय्योन क मेहररूअन बहोत घमण्डी होइ गइ अहइँ। उ पचे मूँड़ी उठाए भए अउर अइसा आचरण करत भए, जइसे उ पचे दूसर लोगन स उत्तिम होइँ, एहर-ओहर घूमति रहत हीं। उ सबइ मेहररूअन आपन आँखिन मटकावत रहत हीं तथा आपन गोड़े क पाजेब झंकारत भइ एहर-ओहर ठुमकत फिरत हीं।”
17 सिय्योन क अइसी मेहररूअन क मूँड़े पइ मोर सुआमी फोड़न निकारी। यहोवा ओन मेहररूअन क गंजा कइ देइ। 18 उ समय, यहोवा ओनसे उ सब चिजियन छोरी लेइ जउने पइ ओनका नाज रहा: गोड़न क सुन्नर पाजेब, सूरज अउर चाँद जइसे देखाइवाले कंठहार, 19 बुन्दे, कंगना अउर ओढ़नी, 20 माथापट्टी, गोड़े क झाँझर, कमरबंद, इत्र क सीसियन अउ ताबीज जेनका उ पचे आपन कंठहारन मँ धारण करत रहिन। 21 मुहरदार अंगूठियन, नाके क बालियन, 22 उत्तिम ओढ़ना, टोपियन, चद्दरन, बटुअन, 23 दर्पण, मलमले क कपड़न, पगड़ीदार टोपियन अउर लम्बा दुसालन।
24 उ समय मँ सुगंधित इत्र जउन अबहुँ अच्छा सुगंध देत अहइ, ओकर उ सुगंध सड़ा भवा फफूँद क संग दुर्गन्ध मँ बदल जाइ। अब उ पचे कमर-बंध पहिरत हीं, किन्तु उ समय पहिरइ क बस ओनके लगे रस्सन होइहीं। इ समय उ पचे आपन बार मँ सुसोभित जूड़न बाँधत हीं, किन्तु उ समय ओनकर मूँड़ मुड़वाइ दीन्ह जइहीं। ओनके एक ठु बार तलक नाहीं होइ।[a] अब ओनके लगे सुन्नर पोसाकन अहइँ। किन्तु उ समय ओनके लगे सिरिफ सोक वस्त्र होइहीं। ओकर सुन्नरता क चीन्ह दासिता क चीन्ह मँ बदलि जाइ।
25 तू पचन्क मनइयन तरवारन स काटि जाइ अउर तोहार मेहरारुअन जुद्ध मँ मारि जाइ। 26 नगर दुआर क निअरे सभा ठउरन मँ रोउब बिलखब अउर दुःख ही फइला होइ। यरूसलेम उ मेहरारू क नाई हर चीज स वंचित होइ जाइ जेकर सब कछू चोर अउ लुटेरन लूट गवा होंइ। उ धरती पइ बइठी अउर बिलखी।
4 उ समय, सात सात मेहररूअन एक ठु मनसेधू क दबोच लेइहीं अउर ओहसे कहिहीं, “आपन खाइ क बरे हम आपन रोटियन क जुगाड़ खुद कइ लेब, आपन पहिरइ बरे ओढ़ना हम खुद बनाउब। बस तू हमसे बियाह कइ ल्या। इ सबइ काम अपने बरे हम खुद कइ लेब। बस तू हमका आपन नाउँ द्या। कृपा कइके हमरी सरम पइ पर्दा डाइ द्या।”
2 मुला इ मुसीबत क समइ मँ भी यहोवा क पौधा इस्राएल क सेवकन क खुस करिहीं। इ एक सुन्नर अउ सम्मानित क रास्ट्र होइ! 3 सिय्योन अउर यरूसलेम मँ जिअत बचा भवा सबइ लोग परिवत्तर कहलाउब्या। यरूसलेम मँ उ पचे ही अहइँ जेकर नाउँ क जिअत रहइ बरे जिन्नगी क पुस्तक मँ सूचीबंध कीन्ह गवा रहेन।
4 यहोवा सिय्योन क मेहररूअन क असुद्धता क धोइ देइ। यहोवा यरूसलेम स खून क धोइ क बहाइ देइ। यहोवा निआव क चेतना क प्रयोग करी अउर बिना कउनो पच्छपात क निर्णय लेइ। वह दाहक चेतना क प्रयोग करी अउर हर वस्तु क सुद्ध कइ देइ। 5 तब परमेस्सर इ साबित करी कि उ आपन मनइयन क संग अहइ। उ दिन क समय, धुँए क एक बादर क रचना करी अउर रात क समय एक चमचमात लपट स मिली भइ आगी। इ सबइ चीन्ह सिय्योन पर्वते पइ, लोगन क हर सभा क ऊपर अउर उ सहर मँ ओकरे हर भवन क ऊपर परगट होइहीं। सुरच्छा बरे हर मनई क ऊपर एक आवरण छाइ जाइ। 6 मण्डप क इ आवरण एक ठु सुरच्छा ठउर होइ। इ आवरण लोगन क सूरज क गर्मी स बचाइ। मण्डप क इ आवरण सब प्रकार क बाढ़न अउ बर्खा स बचइ क एक सुरच्छित ठउर होइ।
एक दुसरे क सहायता करा
6 भाइयो तथा बहिनियो, तोहरे मँ स अगर कउनउ मनई गलत काम करत पकड़ा जाय तउ आत्मिक लोगन क चाही कि नम्रता क साथे ठीक कइ देइ, धरम क मार्ग पर आवइ मँ सहायता करइँ। अउर खुद अपने बरे सावधानी बरता कि कहीं तू पचे खुदउ कउनो परीच्छा मँ न पड़ि जा। 2 परस्पर एक दूसरे क भार उठावा। इही तरह तू मसीह क व्यवस्था क पालन करब्या। 3 अगर केउ मनई महत्वपूर्ण न होत भवा तबउ अपने क महत्वपूर्ण समझत ह, तउ अपने क धोखा देत थ। 4 अपने करम क आंकलन हर कउनो क खुद करत रहइ चाही। अइसेन करइ पर ही ओका अपने पापे पर कउनो दुसरे क साथे तुलना किहे बिना, गरब करइ क अवसर मिली। 5 काहेकि आपन दायित्यव हर कउनो क खुदइ उठावइ क बा।
जीवन खेत-बोवइ जइसा बा
6 जेका परमेस्सर क बचन सुनावा गवा बा, ओका चाही कि जउन अच्छी चीज ओकरे पास बा, ओहमाँ अपने उपदेस क साच्छी बनवइ।
7 अपने आपके जिन्न छला। परमेस्सर क केऊ बुद्धू नाहीं बनाइ सकत, काहेकि जउन जइसेन बोई वइसे ही काटी। 8 जे अपने भौतिक मनई क सुभाऊ बरे बोई, उ अपने काया क बिनास क फसल काटी। मुला जउन आतिमा क खेते मँ बीया बोई उ आतिमा स अनन्त जीवन क फसल काटी। 9 इही बरे आवा हम भलाई करत कभऊँ न थकी। काहेकि अगर हम भलाई करत ही रहब तउ अच्छा समइ आए प हमका ओकर फल मिली। 10 जइसेन ही कउन अवसर मिलई, हमका सब क साथ भलाई करइ चाहीं, विसेस कर अपने बिसवासी भाइयन क साथे।
पत्र क समापन
11 देखा, मइँ तू पचन क खुद अपने हाथे स केतना बड़ा बड़ा अच्छरन मँ लिखे हउँ। 12 अइसे जने जउन सरीर क रुप स अच्छा देखॉवा करइ चाहत हीं तू पचन प खतना करावइ क दबाउ डालत हीं। मुला उ पचे अइसेन बस इही बरे करत हीं कि ओन्हे मसीह क क्रूस क (सुसमाचार) कारण यातना न सहइ पड़इ। 13 काहेकि उ सबइ खुदउ नकइ खतना होइ चुका बा, व्यवस्था क पालन नाहीं करतेन मुला फिन भी ओ पचे चाहत हीं कि तू पचे खतना करावा ताकि उ पचे तू सबन क जरिये इही सरीस क प्रथा क अपनाइ जाइ पर डींग मार सकइँ।
14 मुला जेकरे जरिये मइँ संसार क बरे अउर संसार मोरे बरे भर गवा। पर्भू ईसू मसीह क ओह क्रूस क छोड़िके मोका अउर कउनो प गरब न होइ। 15 काहेकि न तउ खतना क कउनउ महत्व बा अउर न बिना खतना क। अगर महत्व बा त उ नई सिस्टी क बा। 16 इही बरे जउन लोग ऍह विधान पर चलिहीं ओन्हन पर। अउर परमेस्सर क इस्राएल पर सान्ति अउर दया होत रहइ।
17 पत्र क खतम करत मइँ तू सबन स बिनती करत हउँ कि अब मोका कउनउ अउर दुख न द्या। काहेकि मइँ तउ पहिले स अपने सरीर मँ मसीह ईसू क घावन क लिहे घमत रहत अहउँ।
18 भाइयो तथा बहिनियो, हमरे पर्भू ईसू मसीह क अनुग्रह तू पचन क आतिमन क साथे बना रहई। आमीन!
Awadhi Bible: Easy-to-Read Version. Copyright © 2005 Bible League International.