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Old/New Testament

Each day includes a passage from both the Old Testament and New Testament.
Duration: 365 days
Awadhi Bible: Easy-to-Read Version (ERV-AWA)
Version
यसायाह 50-52

इस्राएल क ओकरे पापन्क दण्ड

50 यहोवा कहत ह,
“हे इस्राएल क लोगो, तू पचे कहा करत रह्या कि मइँ तोहार महतारी यरूसलेम क तलाक दिहेउँ।
    किन्तु उ तलाकपत्र कहाँ अहइ जउन साबित कइ देइ कि मइँ ओका तलाक दिहेउँ ह।
हे मोरे गदेलो, का मइँ कउनो क कर्जदार अहउँ?
    का आपन कउनो कर्ज चुकावइ बरे मइँ तोहका बेचेउँ ह?
नाहीं, तू बिका रह्या एह बरे कि तू बुरे करम किहे रह्या।
    एह बरे तोहार महतारी दूर पठइ गइ रही काहेकि तू बुरा करम किहे रह्या।
जब मइँ घरे आवा रहेउँ, मइँ हुआँ कउनो क नाहीं पाएउँ।
    मइँ बार-बार गोहराएउँ किन्तु कउनो जबाव नाहीं दिहस।
का तू पचे सोचत अहा कि तोहका मइँ नाहीं बचाइ सकत हउँ?
    मइँ तोहार बिपत्तियन स तोहका पचन्क बचावइ क सक्ति धरत हउँ।
लखा, जदि मइँ समुद्दर क झुराइ क आदेस देउँ
    तउ उ झुराइ जाइ।
मछरियन परान तजि देइहीं काहेकि हुवाँ जल न होइ
    अउर ओनकर देह सड़ि जाइ।
मइँ अकासन क करिआ कइ सकत हउँ।
    अकास वइसे ही करिआ होइ जइहीं जइसे सोक वस्त्र होत हीं।”

परमेस्सर क सेवक परमेस्सर क भरोसे

मोर सुआमी यहोवा मोका सीख देइ क जोग्यता दिहस ह। ऍह बरे मइँ थका भवा लोगन क प्रोत्साहित करत हउँ अउर ससकत बनावत हउँ। हर भिंसारे उ मोका जगावत ह अउर एक छात्र क नाईं सिच्छा देत ह। मोर सुआमी यहोवा सीखइ मँ मोर सहायक अहइ अउर मइँ ओकर विरोधी नाहीं बना अहउँ। मइँ ओकरे पाछे चलब नाहीं तजब। ओन लोगन क मइँ आपन पिटाइ करइ देब। मइँ ओनका आपन दाढ़ी क बार नोचइ देबउँ। उ सबइ लोग जब मोरे बरे अपसब्द कइहीं अउर मोह पइ थूकिहीं तउ मइँ आपन मुँह नाहीं मोड़ब। मोर सुआमी, यहोवा मोर मदद करी। एह बरे ओनकर अपसब्द मोका दुःख नाहीं पहोंचइहीं। मइँ सुदृढ़ रहब। मइँ जानत हउँ कि मोका निरास नाहीं होइ पड़ी।

एक उ जउन कउनो मोका दोख रहित बनाएस ह उ मोर संग अहइ, एह बरे कउन मनई मोका अपराधी साबित कइ सकत ह। जदि कउनो मनई सोचत ह कि उ मोर खिलाफ कउनो सिकायत रखत ह, तउ उ मनई क मोरे लगे आवइ द्या अउर अपना तर्क रखइ द्या। किन्तु लखा, मोर सुआमी यहोवा मोर मदद करत ह। ऍह बरे कउन मनई अहइ जउन इ सिद्ध कइ सकी कि मइँ दोखी हउँ? उ सबइ सबहिं लोग वइसे ही बाहर फैंकइ जाइ जइसे पुरान कपड़न क जेका किरवन चट कइ जातहीं।

10 अगर कउनो मनई जउन यहोवा क आराधना करत ह अउर ओकर सेवक क संदेस भी सुनत ह, मगर अबहुँ तलक अंधेरे मँ बिना प्रकास क चलत ह, एका अपने यहोवा क नाउँ मँ बिस्सास रखइ चाही अउर ओका आपन परमेस्सर पइ जरूर भरोसा रखइ चाही।

11 “लखा, तू लोग आपन ही ढंग स जिअइ चाहत अहा। आपन आगी अउर आपन मसालन क तू पचे खुद बारत अहा। तू पचे आपन ही ढंग स रहइ चाहत अहा। किन्तु तू पचन्क सजा दीन्ह जाइ। तू पचे आपन ही आगी मँ भहराब्या अउर तोहार पचन्क आपन ही मसालन तू पचन्क बारि डइहीं। अइसी घटना मइँ घटवाउब।”

इस्राएल क इब्राहीम क जइसा होइ चाही

51 “मोर सुन्या, तोहमाँ स जउन लोग उत्तिम जिन्नगी जिअइ क कठिन प्रयत्न करत अहा अउर यहोवा क मदद खोजत अहा। अगर तू सही तरीके से जिअइ क उदाहरण चहात ह, लखा चट्टा (इब्राहीम) क जेहसे तू पचन्क काटि गवा अहइ, लखा खोखला चट्टान (सारा) क जेहसे तू पचन्क तरासत भवा अहइ। हाँ, लखा आपन पिता इब्राहीम अउर आपन माँ सारा क जउन तू पचन्क जन्म दिहेस ह। उ इब्राहीम ही अकेला रहा जेका मइँ बोलाए रहा। किन्तु मइँ ओका वरदान दिहा अउर ओका एक बड़के रास्ट्र बनाइ दिहस।”

सिय्योन पर्वत क यहोवा वइसे ही आसीर्वाद देइ। यहोवा क यरूसलेम अउर ओकरे खंडहरन क बरे खेद होइ अउर उ नगर बरे कउनो बहोत बड़ा काम करी। यहोवा रेगिस्तान क बदल देइ। उ रेगिस्तान अदन क उपवन क जइसे एक उपवन मँ बदल जाइ। उ उजाड़ स्थान यहोवा क बगीचे जइसा होइ जाइ। लोग बहोत जियादा खुस होइहीं। लोग हुवाँ आनन्द परगट करिहीं। उ सबइ लोग धन्नबाद अउर विजय क गीत गइहीं।

“हे मेरे लोगो, मोर सुना! मइँ तू पचन क आपन उपदेसन क देब।
    मइँ आपन नेमन क प्रकास क तरह बनाउब जउन लोगन क देखइहीं कि कइसे ठीक तरह स जिया जात ह।
मइँ हाली ही परगट करब कि मइँ निआव स पूर्ण हउँ।
    मइँ हाली ही तोहार पचन्क रच्छा करब।
मइँ आपन सक्ति क काम मँ लिआउब अउर मइँ सबहिं रास्ट्रन क निआव करब।
    सबहिं दूर-दूर क देस मोर बाट जोहत अहइँ।
    ओनकर मोर सक्ति क प्रतीच्छा अहइ जउन ओनका बचाई।
ऊपर अकासन क लखा,
    अकास अइसे लोप होइ जाइ जइसे धुआँ क एक बादर खोइ जात ह।
अउर धरती अइसे ही बेकार होइ जाइ
    जइसे पुरान ओढ़ना बगैर कीमत क होत हीं।
धरती क वासी आपन प्राण तजिहीं
    किन्तु मोर मुक्ति सदा ही बनी रही।
    मोर उत्तिमता कबहुँ नाहीं मिटी।
अरे ओ उत्तिमता क समुझइवाले लोगो, तू पचे मोर बात सुना।
    अरे ओ मोर सिच्छन पइ चलइवालो, तू पचे उ सबइ बातन सुना जेनका मइँ बतावत हउँ।
दुट्ठ लोगन स तू पचे जिन डेराअ।
    ओन बुरी बातन स जेनका उ पचे तू पचन्स कहत हीं, तू पचे भयभीत जिन ह्वा।
काहेकि उ पचे पुराना कपड़न क नाईं होइहीं।
    ओनका किरवन खाइ जइहीं, उ पचे ऊन क जइसे होइहीं जेका किरवन चाट जइहीं।
संसार क लोग मरिहीं, किन्तु मोर मुक्ति सदा ही बना रही।
    मोर अच्छाइ निरन्तर बनी रही।”

परमेस्सर क सामर्थ्य ओकरे लोगन क रच्छा करत ह

यहोवा क भुजा जाग-जाग।
    आपन सक्ति क सज्जित करा।
तू आपन सक्ति क प्रयोग करा।
    तू वइसे जाग जा जइसे तू बहोत बहोत पहिले जागा रह्या।
तू उहइ सक्ति अहा जउन रहाब क छक्कन छुड़ाए रहा।
    तू भयानक मगरमच्छ क ध्वाये रह्या।
10 तू सागरे क सुखाया।
    तू गहिर समुद्दर क जलहीन बनाइ दिहा।
    तू सागर क गहिर सतह क एक राहे मँ बदल दिहा अउर तोहार लोग उ राह स पार भएन अउर बच गए रहेन।
11 यहोवा आपन लोगन क रच्छा करी।
    उ पचे सिय्योन पर्वत कइँती आनन्द मनावत भए लउटि अइहीं।
इ सबइ सबहिं आनन्द मँ मगन होइहीं।
    सारे ही दुःख ओनसे दूर कहूँ भाग जइहीं।

12 यहोवा कहत ह, “मइँ उहइ हउँ जउन तू पचन्क चइन दिया करत ह।
    एह बरे तू पचन्क दूसर लोगन्स काहे डेराइ चाही?
उ पचे तउ बस मनइयन अहइँ जउन जिया करत हीं अउर मरि जात हीं।
    उ पचे वइसे मरि जात हीं जइसे घास मरि जात ह।”

13 यहोवा तू पचन्क रचेस ह।
    उ निज सक्ति स इ धरती क बनाएस ह।
    उ निज सक्ति स धरती पइ अकास तान दिहस।
किन्तु तू पचे ओका अउर ओकर सक्ति क बिसरि गवा।
    एह बरे तू पचे सदा ही उ मनइयन स भयभीत रहत ह जउन तू पचन्क हानि पहोंचावत हीं।
तोहार नास करइ क ओन लोग जोजना बनाएन,
    किन्तु आजु उ पचे कहाँ अहइँ? उ पचे सबहिं चलि गए रहेन!

14 लोग जउन बन्दी अहइँ, हाली ही मुक्त होइ जइहीं।
    ओन लोगन क मउत काल कोठरी मँ नाहीं होइ अउर न ही उ पचे कारागार मँ सड़त रइहीं।
    ओन लोगन्क लगे खाइके पर्याप्त होइ।

15 “मइँ ही यहोवा तोहार पचन्क परमेस्सर हउँ।
    मइँ ही सागर क झकोरत हउँ अउर मइँ ही लहरन उठावन हउ।”
    ओकर नाउँ सर्वसक्तीमान यहोवा अहइ।

16 “मोर सेवक, मइँ तोहका उ सबइ सब्द देब जेनका मइँ तोहसे कहलवावइ चाहत हउँ। मइँ तोहका आपन हाथन स ढकिके तोर रच्छा करब। मइँ तोहसे नवा अकास अउ नई धरती बनवाउब। मइँ तू पचन क जरिये सिय्योन क इ कहलवा वइ बरे कि तू पचे मोर लोग अहा, ‘तोहार उपयोग करब।’”

परमेस्सर इस्राएल क दण्ड दिहस

17 जागा। जागा।
    यरूसलेम जाग उठा।
यहोवा तोहसे बहोत ही कोहान रहा।
    एह बरे तोहका दण्ड दीन्ह गवा।
उ दण्ड अइसा रहा जइसा जहर क कउनो पियाला होइ अउर उ तोहका पिअइ पड़इ
    अउर ओका तू पी लिहा।

18 यरूसलेम मँ बहोत स लोग हुआ करत रहेन किन्तु ओनमाँ स कउनो भी मनई ओकर अगुवाई नाहीं कइ सका। उ पाल-पोसके जउन गदेलन क बड़ा किहे रहा, ओनमाँ स कउनो भी ओका राह नाहीं देखाइ सका। 19 दुइ जोड़ा बिपत्ति यरूसलेम पइ टूट पड़ी अहइँ, लूटपाट अउर अनाज क परेसानी अउर भयानक भूख अउ सबइ हत्तिया।

जब तू विपत्ति मँ पड़ी रही, कउनो भी तोहका सहास नाहीं दिहस, कउनो भी तोह पइ तरस नाहीं खाएस। 20 तोहार लोग दुर्बल होइ गएन। उ पचे हुवाँ धरती पइ भहराइ पड़ा अहइँ अउर हुँवइ पड़ा रइहीं। उ सबइ लोग हर गली का नुक्कड़ पर पड़ा अहइँ। उ सबइ लोग अइसे अहइँ जइसे कउनो जाल मँ फँसा हरिन होइ। ओन लोगन पइ यहोवा क कोप क मार तब तलक पड़त रही, जब तलक उ पचे अइस न होइ गएन कि दण्ड झेल ही न सकइ। परमेस्सर जब कहेस कि ओनका अउर दण्ड दीन्ह जाइ तउ उ पचे बहोत कमजोर होइ गएन।

21 बेचारे यरूसलेम, तू मोर सुन। तू कउनो धूत्त मनई क समान दुर्बल अहा किन्तु तू दाखरस पीके धुत्त नाहीं भवा अहा, बल्कि तू तउ “जहर क उ पियाला का पीके” अइसा दुर्बल होइ गवा अहा।

22 तोहार पचन्क परमेस्सर अउर सुआमी उ यहोवा आपन लोगन बरे जुद्ध करी। उ तू पचन्क कहत ह, “लखा! मइँ ‘जहर क इ पियाला’ (दण्ड) क तू पचन्स दूर हटावत हउँ। मइँ आपन किरोध क तू पचन्पइ स हटावत अहउँ। अब मोरे किरोध स तू पचन्क अउर दण्ड नाहीं भोगइ क होइ। 23 अब मइँ आपन किरोध क मार ओन लोगन पइ डाउब जउन तू पचन्क दुःख पहोंचावत हीं। उ सबइ लोग तू पचन्क मार डावइ चाहत रहेन। ओ लोग तू पचन्स कहे रहेन, ‘हमरे अगवा निहुरि जा। हम तू पचन्क कुचरि डाउब।’ आपन समन्वा निहुरावइ बरे उ पचे तू पचन्क मजबूर किहन। फुन ओ लोग तू पचन्क पीठ क अइसा बनाइ डाएन जइसे धूर-माटी होइ ताकि उ पचे तू पचन्क रौंद सकइँ। ओनके बरे चलइ क वास्ते तू पचे कउनो राहे क जइसा होइ गए रह्या।”

इस्राएल क उद्धार होइ

52 जाग उठा! जाग उठा हे सिय्योन!
    आपन वस्त्र क धारण करा, तू आपन सक्ति स भरा।
हे पवित्तर यरूसलेम, तू खड़ा होइ जा।
    अइसे उ सबइ लोग जेनका परमेस्सर क अनुसरण करब कबूल नाहीं अहइ
    अउर जउन स्वच्छ नाहीं अहइँ, तोहमाँ फुन प्रवेस नाहीं कइ पइहीं।
तू धूरि झाड़ द्या, तू आपन सुन्नर ओढ़ना धारण करा।
हे यरूसलेम, हे सिय्योन क बिटिया, तू एक बन्दिनी रहिउ
    किन्तु अब तू खुद क आपन गटई मँ बँधी जंजीरन स मुक्त करा।
यहोवा क कहत ह,
    “तोहका धन क बदले मँ नाहीं बेचा गवा रहा,
    एह बरे जब मइँ तोहका आजाद करब तउ कउनो धन नाहीं देइ पड़ी।”

मोर सुआमी यहोवा कहत ह, “मोर लोग बस जाइ बरे पहिले मिस्र मँ गवा रहेन, अउर फुन उ पचे दास बन गएन। पाछे अस्सूर ओनका बेकार मँ ही दास बनाइ लिहे रहा। अब लखा, इ का होइ गवा अहइ। अब कउनो दूसर रास्ट्र मोरे लोगन क लइ लिहे अहइ। मोरे लोगन क लइ जाइ बरे इ देस कउनो भुगतान नाहीं किहे रहा। इ देस मोरे लोगन पइ हुकुमत करत ह अउर ओनकर हँसी उड़ावत ह। हुवाँ क लोग सदा ही मोरे बरे बुरी बातन कहा करत हीं।”

यहोवा कहत ह, “अइसा एह बरे भवा कि मोरे लोग मोरे बारे मँ जानइँ। मोरे लोगन क पता चलि जाइ कि मइँ कउन हउँ? मोरे लोग मोर नाउँ जान जइहीं अउर ओनका इ भी पता चल जाइ कि उ मइँ ही हउँ जउन ओनसे बोलन हउँ।”

सुसमाचार क संग पहाड़न क उपर स आवत भए संदेसवाहक क लखब निहचय ही एक अद्भुत बात अहइ। कउनो संदेसवाहक क इ घोसणा करत भए सुनब केतना अद्भुत अहइ: “हुवाँ सान्ति क निवास अहइ, हम बचाइ लीन्ह गए अही। तोहार परमेस्सर राजा अहइ।”

नगर क रखवारे जयजयकार करइ लागेन ह।
    उ पचे आपुस मँ मिलिके आनन्द मनावत अहइँ।
काहेकि ओनमाँ स हर एक यहोवा क सिय्योन क लउटिके आवत भए लखत अहइ।

यरूसलेम तोहार उ सबइ भवन जउन बर्बाद होइ चुके अहइँ फुन स खुस होइ जइहीं।
तू पचे सबहिं आपुस मँ मिलिके आनन्द मनउब्या।
    काहेकि यहोवा यरूसलेम पइ दयालु होइ जाइ, यहोवा आपन लोगन क उद्धार करी।
10 यहोवा सबहिं रास्ट्रन क ऊपर आपन पवित्तर सक्ति दर्साइ अउर सबहिं उ सबइ देस जउन दूर-दूर बसा अहइँ,
    लखिहीं कि परमेस्सर आपन लोगन क रच्छा कइसे करत ह।

11 तू लोगन क चाही कि बाबुल छोड़ जा।
    उ जगह छोड़ द्या।
हे लोगो, ओन वस्तुअन क लइ चलइवाले जउन उपासना क काम आवति हीं,
    अपने आप क पवित्तर करा।
    अइसी कउनो भी वस्तु जउन पवित्तर नाहीं ओका जिन छुआ।
12 तू पचे बाबुल तजब्या
    किन्तु हाली मँ तजइ क तू पचन्पइ कउनो दबाव नाहीं होइ।
    तू पचे चलिके बाहेर जाब्या अउर यहोवा तू पचन्क संग संग चली।
तू पचन्क क अगुवाई यहोवा ही करी
    अउर तोहार पचन्क रच्छा बरे इस्राएल क परमेस्सर पाछे-पाछे भी होइ।

परमेस्सर क सेवक कस्ट सहत

13 “मोरे सेवक कइँती लखा। इ बहोत सफल होइ। इ बहोत महत्वपूर्ण होइ। अगवा चलिके लोग ओका आदर देइहीं अउर ओकर सम्मान करिहीं। 14 किन्तु बहोत स लोग जब मोरे सेवक क लखेन तउ उ पचे भौचक्के रहि गएन। मोर सेवक एतना बुरी तरह स सतावा ग रहा कि उ पचे ओका एक मनई क रूप मँ बड़ी दिक्कत स पहचान पाएन। 15 किन्तु बहोत सारे रास्ट्रन भी चकित होइहीं। राजा ओका लखिके अचरजे मँ पड़ि जइहीं अउर एक सब्द भी नाहीं बोल पइहीं। उ मोर सेवक क बारे मँ नाहीं सुनी ही किन्तु जउन कछू भवा रहा उ पचे ओका लखे रहेन। उ लोग ओकर बारे मँ सुने भर नाहीं रहेन किन्तु ओका समझे रहेन।”

1 थिस्सलुनीकियन 5

पर्भू क अवाई क सुवागत बरे तइयार रहा

भाइयो तथा बहिनियो, समइ अउर तिथियन क बारे मँ तोहे लिखइ क कउनउ जरूरत नाहीं बा काहेकि तू खुदई बहुत अच्छी तरह जानत ह कि जइसे चोर रस्ता स चुप्पे चला आवत ह, वइसेन ही पर्भू क फिन स लउटइ क दिन भी आइ जइहीं। जब लोग कहत होइहीं कि “सब कछू सांत अउर सुरच्छित बा” तबइ जइसे एक गर्भवती स्त्री क अचानक प्रसव वेदना आइ घेरत ह वइसेन ही ओह पर बिनास उत्तर आइ अउर उ कहूँ बचिके भाग न पावइ।

मुला भाइयो तथा बहिनियो, तू अँधियारे (पाप) क वासी नाहीं अहा कि तोह पर उ दिन अचानक ही चोर की नाई आइ जाइ। तू सब तउ प्रकास (भलाई) स जुड़ा अहा अउर दिन क संतान स भी। हम न तउ रात या अँधियारा (बुराई) जुड़ा हई। इही बरे हमका अउरन क नाई सोवत रहत न चाही, बल्कि सावधानी क साथे हमका तउ अपने प नियन्त्रण रखइ चाहीं। काहेकि जउन सोवत हीं, रात मँ सोवत ही अउर जउन नसा करत हीं, उ रात मँ ही मदमस्त होत हीं। मुला हम पचे तउ दिने (भलाई) स जुरा हई इही बरे हमका अपने प काबू रखई चाही। आवा बिसवास अउर पिरेम क चिलम धारण कइ लेई अउर उद्धार पावई क आसा क सिरस्त्राण क तरह ओढ़ि लेई।

काहेकि परमेस्सर हमका ओनके प्रकोपे क बरे नाहीं चुनेस ह बल्कि हमार पर्भू ईसू मसीह द्वारा उद्धार पावई क बरे बनाए अहइ। 10 ईसू तउ हमरे बरे परान तियाग दिहेस ताकि चाहे हम सजीव ओकरे संग होई, इ जरूरी नाहीं कि जब उ आवइ हम जिअत या मरा रही। 11 इहीं बरे एक दुसरे क सुख पहुँचाव अउर एक दुसरे क आध्यात्मिक रूपे स मजबूत बनावत रहा। जइसेन कि तू करत अहा।

अन्तिम निर्देस अउर अभिवादन

12 भाइयो तथा बहिनियो, हमार तोहसे निवेदन बा कि जउन लोग तोहरे बीच मेहनत करत हीं अउर पर्भू मँ जउन तोहे राह देखावत हीं, ओनकर आदर करत रहा। 13 हमार तोहसे निवेदन बा कि ओनके कामे क कारण पिरेम क साथे ओन्हे पूरा आदर देत रहा।

परस्पर सान्ति स रहा 14 अउर भाइयन, हमार तोहसे निवेदन बा आलसियन क चेतावा, डरपोकन क प्रेरित करा, दीनन क सहायता मँ रुचि ल्या, सबके साथे-धीरज रखा। 15 देखत रहा केउ क बुराई क बदला बुराई स न द्या बल्कि सब जने हमेसा एक दुसरे क साथे भलाई करई क जतन करा।

16 हमेसा आनन्दित रहा। 17 पराथना करब कबहुँ न छोड़ा। 18 हर परिस्थिति मँ परमेस्सर क धन्यबाद द्या, काहेकि मसीह ईसू मँ, तोहरे बरे परमेस्सर क इहइ इच्छा बाटइ।

19 पवित्तर आतिमा क कार्य क दमन मत करत रहा।

20 नबियन क संदेसन क कभउँ छोट न जान। 21 सब बातन क असलियत क परखा, जउन अच्छा बा, ओका ग्रहण किहे रहा 22 अउर हर तरह क बुराई स बचा रहा।

23 सान्ति क स्रोत परमेस्सर खुद तोहे पूरे तरह पवित्तर करी। पूरी तरह स ओनका समर्पित होई जा अउर तू अपने पूरा अस्तित्व अर्थात आतिमा, परान अउर देह क हमार पर्भू ईसू मसीह क अवाई तलक सब तरह स दोस रहित बनाए रखा। 24 उ परमेस्सर जे तोहे बोलाए अहइ, बिसवास क योग्ग बाटइ। निस्चय ही उ अइसनई करी।

25 भाइयो तथा बहिनियो, हमरे भी बरे पराथना करा। 26 सब भाइयन अउर बहिनियन क पवित्तर चुम्मा स सत्कार करा। 27 तोहे पर्भू क सपथ दई क मइँ इ आग्रह करित ह कि इ चिठ्ठी क सब भाइयन क पढ़ाई क सुनावा जाइ। 28 हमार पर्भू ईसू मसीह क अनुग्रह तोहरे साथे रहइ।

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