M’Cheyne Bible Reading Plan
मूसा लोगन क परमेस्सर क नेमन पइ धियान देइ बरे चिताउनी देत ह
4 “इस्राएल, अब ओन नेमन अउ सबइ आदेस क सुना जेनकइ उपदेस मइँ देत अहउँ। ओनका माना। तब तू पचे जिअत रहब्या। तू जाइ सकब्या अउर उ प्रदेस क लइ लेइ सकब्या जेका यहोवा तोहरे पचन्क क पुरखन क परमेस्सर तोहका दइ देत अहइ। 2 जउन मइँ हुकुम देत अहउँ ओहमाँ अउर कछू जोरब नाहीं अहइ। तू पचन्क ओहमाँ स कछू घटावइ नाहीं चाही। तू पचन्क आपन यहोवा परमेस्सर क ओन सबइ आदेस क मानइ चाही जेनका मइँ तू पचन्क दिहेउँ ह।
3 “तू पचे लख्या ह कि बाल पोर मँ यहोवा का किहेस। यहोवा तोहार परमेस्सर तोहरे ओन सबहिं मनइयन क नास कइ दिहेस जउन बाल पोर क मानत रहेन। 4 मुला तू लोग सबइ जउन यहोवा आपन परमेस्सर क संग रहेन, आजु जिअत अहा।
5 “धियान द्या, यहोवा मोर परमेस्सर जउन मोका हुकुम दिहेस ह, ओनहीं नेमन अउ हुकुमत क मइँ तू पचन्क सिच्छा देत अहउँ। तोहका उ नेमन क उ भुइँया मँ जरूर मानइ चाही जहाँ तू पचे रहइ बरे जात रहा। 6 ऍन नेमन क होसियारी स पालन करा। इ दूसर रास्ट्रन क सूचित करी कि तू पचे बुद्धि अउ समझ राखत अहा। जब ओन देसन क लोग इ नेमन क बारे मँ सुनिहीं तउ उ सबइ सच्चाइ क साथ स्वीकार करिहीं कि ‘फुरइ, इस्राएल रास्ट्र क लोग बुद्धिमान अउ समुझदार अहइँ।’
7 “कउनो रास्ट्र क कउनो देवता ओनके संग ओतना निचके नाहीं रहत जउने तरह यहोवा हमार परमेस्सर जउन हम लोगन क लगे रहत ह, जब हम ओका पुकारित ह, 8 कउनो दूसर रास्ट्र ऍतना महान नाहीं कि ओकरे लगे उ पचे न्यायसंगत नेमन अउ हुकुमन होइँ जेनकर उपदेस मइँ आजु करत अहउँ। 9 मुला तू पचन्क होसियार रहइ। निहचय कइ ल्या कि जब तलक तू पचे जिअत रहब्या, तब तलक तू पचे देखी भइ चिजियन क न बिसरब्या या एकॉ आपन हिरदइ स जाइ न देब्या। तू पचन्क इ सबइ सिच्छा क आपन पूत अउ पोतन क देइ चाही। 10 उ दिन क याद राखा जब तू पचे होरेब पहाड़े पइ आपन यहोवा परमेस्सर क समन्वा ठाढ़ रह्या। यहोवा मोसे कहेस, ‘मइँ जउन कहत हउँ, ओका सुनइ बरे लोगन क बटोरा। तब उ पचे मोर स भयभीत होइहीं जब तलक उ पचे उ भुइँया पइ रइहीं अउर उ पचे इ सब उपदेस आपन गदेलन क भी देइहीं।’ 11 तू पचे निचके आया अउ पहाड़े क तरखाले खड़ा होइ गया। पहाड़े मँ आग लग गइ अउ उ अकास क छुअइ लाग। घना करिआ बादर अउ अँधियारा गमका। 12 तबहिं यहोवा आगी क बीच मँ स तू पचन्स बतियान। तू पचे अवाज सुनया मुला तू पचे ओका कउनो सकल नाहीं निहार सक्या। सिरिफ अवाज सुनाई पड़त रही। 13 उ तू पचन क आपन करार क बताएस। उ दस आदेसन क दिहस अउ तोहका ओका मानइ क आदेस दिहस। उ ओनका दुइ ठू पाथर क सिला पइ लिखेस। 14 ओह समइ यहोवा मोका हुकुम दिहस कि मइँ तू पचन्क इ सबइ विधि अउ नेमन क उपदेस देउँ। इ सबइ उहइ सब नेमन अउ विधि अहइँ जेनका मानब तू पचन्क उ देस मँ करइ चाही जेका तू पचे लेइ अउ बसइ बरे तू पचे जात अहा।
15 “उ दिना यहोवा होरेब पहाड़े क आगी स तोहे सबन्स बात किहस। तू पचे ओका तने क रुप मँ नाहीं लख्या। ऍह बरे होसियार रहा। 16 आपन जिन्नगी क जिन बरबाद करा। आपन बरे कउनो मूरति क रूप जिन बनावा। अइसी मुर्ती जिन बनावा जउन कउनो मनसेधू अउ मेहरारु क नाईं होइ। 17 अइसी मूरत जिन बनावा जउन भुइँया क कउनो जनावर या अकासे क पंछी क नाई देखाँइ देत होइ। 18 अउर अइसी मूरत जिन बनावा जउन भुइँया पइ रेंगइवाला या समुद्दर क मछरी क नाई देखाँइ देत ह। 19 जब तू पचे अकासे कइँती निगाह करा अउर सूरज, चँदा, तारन अउ बहोत कछू चिजियन तू अकासे मँ लखा, ओनका प्रति सेवा अउ पूजा बरे आकर्सित जिन भवा। यहोवा तू पचन्क परमेस्सर ऍन सबइ चिजियन क संसारे क दूसर मनइयन क दिहस ह। 20 मुला यहोवा तोहका पचन्क मिस्र स बाहेर लिआवा ह जउन तोहरे पचन बरे लोहा क भट्ठी रही। उ तू सबन्क एह बरे लिआएस ह कि तू पचे ओकर आपन लोग बन सका जइसे तू पचे अबहुँ अहा।
21 “यहोवा तोहरे पचन्क कारण मोसे कोहाइ ग रहा। उ किरया खाएस कि मइँ यरदन नदी क ओह पार नाहीं जाइ सकत हउँ। उ कहेस कि मइँ उ सुन्नर प्रदेस मँ घुस नाहीं सकत हउँ जेका यहोवा तोहार परमेस्सर तोहका मिरास क रूप मँ देत अहइँ। 22 ऍह बरे मोका इहइ प्रदेस मँ मरइ चाही। मइँ यरदन नदी क पार नाहीं जाइ सकत हउँ। मुला तू पचे ओकरे पार होइ जाब्या अउ अच्छा भुइँया पाउब्या। 23 तोहका सबन्क होसियार रहइ चाही कि तू पचे उ करार क जिन बिसरि जा, जेका यहोवा तोहरे पचन्क परमेस्सर तोहे सबन्स किहे अहइ। तू पचन्क कउने किसिम क मूरति नाहीं बनवइ चाही काहेकि यहोवा तोहरे पचन्क परमेस्सर तोहे सबन्क न बनावइ क आग्या दिहे अहइ। 24 काहेकि तोहार परमेस्सर, ईर्स्यालु परमेस्सर अहइ। उ भस्म करइ बरे आगी क नाइँ अहइ।
25 “जब तू पचे उ भुइँया मँ बहोत समइ तलक अच्छी तरह स रहि लेब्या अउ तोहार सबन्क पूतन अउ पोतवन होइहीं, अगर तू भ्रस्ट होइ जाब्या अउ तू सबइ प्रकार क मूर्ति बनाउब्या, तउ यहोवा तोहार पचन्क परमेस्सर इ क बुरा चीज मँ सामिल करिहीं। एहसे उ कोहाइ जाइ। 26 अगर तू पचे उ बुराई क करब्या, तउ अकास अउ धरती तू पचन्क खिलाफ गवाह होई। मइँ तोहका कहत हउँ इ होई। तू पचे हाली ही बरबाद होइ जाब्या। तू पचे यरदन नदी क उ देस क लेइ बरे पार करत बाट्या, मुला तू पचे हुवाँ बहोत समइ तलक नाहीं रहब्या। तू सबहिं पूर्णरूप स नस्ट होइ जाब्या। 27 यहोवा तोहे पचन्क दूसर रास्ट्रन मँ तितराइ बितराइ देइ अउ तू पचन मँ स उ देस मँ कछू ही जिअत रइहीं जेनमाँ यहोवा तू पचन्क पठइ। 28 तू पचे हुवाँ मनइयन क बनवा देवतन क पूजब्या, ओन जिजियन क जउन काठे अउ पाथर क होइहीं जउन न लखि, न सुनि, न खाइ या न सूँघ सकत हीं। 29 मुला ऍन दूसर देसन मँ तू पचे यहोवा आपन परमेस्सर क हेरब्या। अगर तू पचे आपन पूरी तन अउ मन स ओका हेरब्या तउ ओका पउब्या। 30 जब तू पचे विपत्ति मँ पड़ि जाब्या अउर उ सबइ बातन तू पचन पइ घटिहीं तउ तू पचे उ दिनन मँ यहोवा आपन परमेस्सर क लगे लउटब्या अउ ओकरी आग्या क मनब्या। 31 यहोवा तोहार परमेससर कृपालु अहइ उ तू पचन्क न तजी। उ तू पचन्क नस्ट नाहीं करी। उ उ वाचा क न बिसरी जउन उ तोहरे पुरखन क बचन क रुप मँ दिहस।
ओन महान करमन क बारे मँ सोचा जउन यहोवा तोहरे पचन्क बारे मँ किहस
32 “का ऍतनी महान बात पाछे कबहुँ भइ रही? पाछे के उ दिनन क बारे मँ सोचा जब परमेस्सर धरती पइ मनई क बनाएस। ओन सबहिं बातन क बारे मँ सोचा जउन संसार मँ कहूँ भी घटि भइ अहइँ। का इ महान घटना जइसी कउनो कबहुँ पहिले सुनेस ह? नाहीं। 33 तू पचे परमेस्सर क तू पचन्स आगी मँ स बोलत सुन्या ह अउर तू पचे अबहुँ भी जिअत अहा। का अइसी घटना कउनो क संग घटी भइ अहइ? नाहीं। 34 का कउनो दूसर देवता कबहुँ आपन लोगन क दूसरे रास्ट्रन क भीतर खुद हुआँ स बाहेर लिआवइ क जतन किहस ह? नाहीं। मुला तू पचे खुद लख्या ह कि परमेस्सर इ सबइ काम तोहार बरे करत ह। उ तोहका मिस्र स परीच्छा, चमत्कार, अचरज, जुद्ध, महान सक्ती, ताकत अउ भयानक कामन क जरिया बाहर लिआएस। 35 उ तू पचन्क इ सब देखाएस ह जेका तू पचे जान ल्या कि यहोवा ही परमेस्सर अहइ। ओकरे अतिरिक्त कउनो दूसर परमेस्सर नाहीं अहइ। 36 यहोवा सरग स आपन बातन क, तोहका सिच्छा देइ बरे सुनइ देत रहा। उ धरती पइ आपन महान आगी देखाएस अउ उ ओहमाँ स बोलेस।
37 “यहोवा तोहरे पुरखन स पिआर करत रहा। इहइ कारण रहा कि उ ओनके पुरखन यानी तू पचन्क चुनेस अउ इहइ कारण अहइ कि यहोवा तोहका मिस्र बाहेर लिआएस। उ तोहरे संग रहा अउ आपन बड़की सक्ती स तू पचन्क बाहेर लिआएस। 38 जबहिं तू पचे आगवा बढ़्या तउ यहोवा तोहरे समन्वा स रास्ट्रन क बाहेर जाइ बरे मजबूर किहस। इ सबइ रास्ट्र तू पचन्स बड़का अउ जियादा बरिआर रहेन। मुला यहोवा तू पचन्क ओनके देस मँ लइ आवा। उ ओनकइ देस तू पचन्क बसइ बरे दिहस अउ इ देस आजु भी तोहार अहइ।
39 “एह बरे आजु तू पचन्क जानइ अउ सुमिरइ चाही कि यहोवा परमेस्सर अहइ। उ आकासे क ऊपर अउ धरती क नीचे तलक क परमेस्सर अहइ। कउनो दूसर परमेस्सर नाहीं अहइ। 40 तू पचन्क ओकरे ओन नेमन अउ हुकुमन क जरूर मानइ चाही जेनका मइँ आजु तू पचन्क देत अहउँ। अगर तू करब तब हर एक बात तोहरे पचन्क अउ तोहरे ओन गदेलन बरे नीक रही जउन तोहरे सबन्क बाद होइहीं। तू पचे लम्बे समइ तलक उ देस मँ रहब्या जेका यहोवा तोहार परमेस्सर तू पचन्क हमेसा बरे दइ देत अहइ।”
मूसा सुरच्छा क नगरन क चुनत ह
41 तब मूसा तीनउ सहरन क यरदन नदी क पूरब कइँती चुनेस। 42 जदि कउनो मनई कउनो क संजोग स मारि डावइ तउ उ इ सहरन मँ स कउनो मँ पराइके जाइ सकत ह अउ बचा रहि सकत ह। अगर उ मारा भए मनई स घिना नाहीं करत रहा अउर ओका मार डावइ क इरादा नाहीं रखत रहत तउ उ ओन सहरन मँ स कउनो एक मँ जाइ सकत ह। 43 मूसा जउने सहरन क चुनेस, उ सबइ इ सब रहेन: रूबेनी लोगन बरे रेगिस्तान क मैदानी भुइँया मँ बेसेर; गादी लोगन बरे गिलाद मँ रामोत अउ मनस्से लोगन बरे बासान मँ गोलान।
मूसा क नेमन क परिचय
44 इस्राएली मनइयन बरे जउन नेम मूसा दिहस उ इ बाटइ। 45 मूसा इ सबइ उपदेसन, नेमन अउ हुकुमन इस्राएल क लोगन बरे तब दिहस जब उ सबइ मिस्र स बाहेर आएन। 46 मूसा इ सबइ नेमन क तब दिहस जब लोग यरदन नदी क पूरबी किनारे पइ बेत-पोर क पार घाटी मँ रहेन। उ पचे एमोरी राजा सीहोन क देस मँ रहेन, जउन हेसबोन मँ रहत रहा। मूसा अउ इस्राएल क लोग सीहोन क तब हराएन जब उ पचे आए रहेन। 47 उ पचे सीहोन क भुइँया अउ बासन राजा क ओग क भुइँया क अपने लगे रखइ बरे कब्जा कइ लिहे रहेन। दुइनउँ एमोरी राजा यरदन नदी क पूरब मँ रहत रहेन। 48 इ पहँटा अर्नोन घाटी क सिरे पइ टिका भवा अरोएर स लइके सिओन अरथात हेर्मोन पहाड़े तलक फइला रहा। 49 यरदन नदी क पूरब क पूरा पहँटा उस प्रदेस मँ मिला रहा। इ पूरब मँ पिसगा पहाड़े क चरण तलक अराबा समुद्दर तलक फइलत भवा रहा।
दाऊद क पराथना।
1 मइँ एक दीन, असहाय मनई अहउँ।
हे यहोवा, तू कृपा कइके मोर सुनि ल्या, अउर तू मोर विनती क जवाब द्या।
2 मइँ तोहार भगत हउँ, कृपा कइके मोर रच्छा करा।
मइँ तोहार सेवक अहउँ अउर तू मोर परमेस्सर अहा।
मइँ तोह पइ भरोसा किहेउँ, कृपा कइके मोका बचावा।
3 मोर सुआमी, मोह पइ दाया करा।
मइँ सारा दिन तोहार बिनती करत रहत हउँ।
4 हे मोर यहोवा, मइँ आपन जिन्नगी तोहार हाथन मँ देत हउँ।
हे मोर सुआमी, मोका, आपन सेवक क सुखी बनावा।
5 हे सुआमी, तू नीक अउ छिमाकर्ता अहा।
तू आपन मनवइयन स बहोत पिरेम करत अहा, जउन सहारा पावइ क तोहका गोहरावत हीं।
6 हे यहोवा, मोर बिनती सुनि ल्या।
कृपा कइके तू आपन कान क मोर पराथना पइ दाया बरे द्या।
7 हे यहोवा, आपन संकट क घरी मँ मइँ तोहार बिनती करत हउँ।
मइँ जानत हउँ तू मोका जवाब देब्या।
8 हे सुआमी, तोहरे जइसा कउनो देवता नाहीं अहइ।
जइसेन काम तू किहा ह वइसा काम कउनो भी नाहीं कइ सकत।
9 हे सुआमी, तू ही सब लोगन क रच्या ह।
उ पचे आइहीं अउर तोहार आराधना करिहीं।
उ पचे सबहिं तोहरे नाउँ क आदर करिहीं।
10 हे परमेस्सर, तू महान अहा।
तू अजूबा करम करत अहा।
तू अकेल्ले ही परमेस्सर अहा।
11 हे यहोवा, मोका आपन राहन क सिच्छा द्या,
तउ मइँ तोहरे सच्चाइ क अनुसार रहेबउँ।
कृपा कइके मोर मदद करा,
तउ मइँ पूरे हिरदय स तोहार उपासना करबउँ।
12 हे मोर सुआमी परमेस्सर, मइँ सम्पूर्ण हिरदय स तोहार गुण गावत हउँ।
मइँ तोहरे नाउँ क आदर सदा सदा ही करबउँ।
13 काहेकि तू मोका बहोत जिआदा पिरेम किहा ह।
तू मोका मउत क गहड़ा खाइ स बचाया ह।
14 परमेस्सर, अहंकारी लोग मोह पइ वार करत अहइँ।
कर लोगन क समूह मोका मार डावइ चाहत अहइँ।
अउर उ सबइ मनई तोहार आदर नाहीं करत अहइँ।
15 हे सुआमी, तू दयालु अउ कृपा स भरा परमेस्सर अहा।
तू धीरज स भरा, बिस्सासी अउ पिरेम स भरा अहा।
16 हे परमेस्सर, देखावा कि तू मोर सुनत ह अउर मोह पइ कृपालु रहत ह।
मइँ तोहार सेवक हउँ, तू मोका सक्ति द्या।
मइँ तोहार सेवक हउँ, मोका बचावा!
17 हे यहोवा, कछू अइसा करा जेहसे इ साबित होइ कि तू मोर सहायता करब्या।
तब मोर दुस्मन एका जानिहीं अउ निरास होइ जइहीं।
तउ इ परगट होइ तू उहइ अहा जउन मोर मदद किह्या अउर मोका आराम दिह्या।
कोरह परिवार क एक ठु भजन।
1 परमेस्सर यरूसलेम क पवित्तर पहाड़ियन पइ आपन मन्दिर बनाएस।
2 यहोवा इस्राएल मँ कउनो भी दूसर सहर स जियादा सिय्योन क दुआर क पसंद करत हीं।
3 हे परमेस्सर क नगर, तोहरे बारे मँ लोग अजूबा बातन कहत हीं।
4 मइँ सिय्योन ओन लोगन क सूची बनाउब जउन मोका जानत ह,
एहमाँ ओन लोगन भी सामिल अहइँ जउन मिस्र, बाबुल, पलिस्ती, सोर अउ इथोपिया मँ भी रहत हीं।
5 उ हरेक जन क जउन
सिय्योन मँ पइदा भएन जानत ह।
सर्वोच्च परमेस्सर इ सहर क स्थापना किहेस ह।
6 यहोवा आपन रास्ट्रन क सूची राखत ह।
उ जानत ह कि कउन सिय्योन मँ पइदा भवा ह। सेला
7 ओकर मनवइयन बहोत खुसी स गावत अउर नाचत हीं।
उ पचे कहा करत हीं, “सबहिं उत्तिम चिजियन यरूसलेम स आइन।”
मुखिया लोगन क खरा अउर सच्चा होइ चाही
32 लखा, राजा लोग आपन राज्ज क निआव बरे सासन करब्या। अधिकारियन भुइँया क निआव करइ बरे सक्ती राखब्या। 2 जदि अइसा होइ तउ राजा उ जगहिया क नाई होइ जाइ जहाँ लोग आँधी अउ बर्खा स बचइ बरे आस्रय लेत हीं। इ झुरान धरती मँ जल धारन क नाई होइ। इ अइसा ही होइ जइसे गरम प्रदेस मँ कउनो बड़की चट्टान क ठण्डी छाया। 3 तब लोग ओका ठीक स देखत ही जउन ओकर आँख लखत ह। लोग ओका धियान स सुनिही जउन ओकर कान सुनत ह। 4 उ पचे लोग जउन उतावला अहइँ, उ सबइ सही फैसला लेइहीं। उ सबइ लोग जउन अबहिं साफ साफ नाहीं बोल पावत हीं, उ पचे साफ साफ अउर जल्दी बोलइ लगिहीं। 5 मूरख लोग महान मनई नाहीं कहवइहीं। लोग सड्यंत्र करइवालन क सम्मान जोग्ग नाहीं कहिहीं।
6 एक मूरख मनई तउ बेवकूफी स भरी बातन कहत ह अउर उ आपन मने मँ बुरी बातन क ही जोजनन बनावत ह। मूरख मनई अनुचित कारज करइ क ही सोचत ह। मूरख मनई यहोवा क बारे मँ गलत बातन कहत ह। मूरख मनई भुखान क खइया क खाइ नाहीं देत। मूरख मनई पियासे लोगन क पानी नाहीं पिअइ देत। 7 उ मूरख मनई बुराई क एक हथियार क रूप मँ इस्तेमाल करत ह। उ निर्धन लोगन स झूठ क जरिये बरबाद करइ बरे बुरे बुरे राहन बनावत ह। ओकर इ सबइ झूठी बातन गरीब लोगन क निस्पच्छ निआव मिलाइ स दूर रखत ह।
8 मुला एक ठु नीक मुखिया नीक काम करइ क योजना बनावत ह अउर ओकर उ सबइ नीक बातन ही ओका एक बढ़िया नेता बनावत ह।
बुरा समय आवत अहइ
9 तोहमाँ स कछू मेहररूअन अबहिं खुस अहइँ। तू पचे सुरच्छित अनुभव करति अहा। मुला तू पचन खड़े होइके जउन बचन मइँ बोलत हउँ ओनका सुनइ चाही। 10 मेहररूओ तू पचे अबहिं सुरच्छित अनुभव करति अहा किन्तु एक बरिस पाछे तू पचन बिपत्ति आवइवाली अहइ। काहेकि तू पचे अगले बरिस अंगूर एकट्ठा नाहीं करिब्यू एकट्ठा करइ बरे अँगूर होइहीं ही नाहीं।
11 मेहररूओ, अबहिं तू पचे चइन स अहा, किन्तु तू पचन्क डेराइ चाही। मेहररूओ, अबहिं तू पचे सुरच्छित अनुभव करति अहा, किन्तु तू पचन्क चिन्ता नाहीं करइ चाही। आपन सुन्नर ओढ़नन क उतारि बहावा अउर सोक वस्त्रन क धारण कइ ल्या। ओन वस्त्रन क आपन कमर पइ लपेट ल्या। 12 आपन सोक स भरी छातियन पइ ओन सोक वस्त्रन क पहिर ल्या। विलाप करा काहेकि तोहार खेत उजरि गवा अहइँ। तोहार पचन्क अंगूरे क बगीयन जउन कबहुँ अंगूर दिया करत रहेन, अब खाली पड़ा अहइँ। 13 मोरे लोगन क धरती बरे बिलाप करा। बिलाप करा, काहेकि हुवाँ बस काँटन अउ खरपतवार ही उगा करिहीं। विलाप करा इ नगर बरे अउर ओन सब भवनन बरे जउन कबहुँ आनन्द स भरे भए रहेन।
14 लोग इ प्रमुख नगर क छोड़ जइहीं। इ महल अउर इ मीनारन वीरान छोड़ दीन्ह जइहीं। उ पचे जनावरन क माँद जइसे होइ जइहीं। नगर मँ जंगली गदहन बिहार करिहीं। हुवाँ भेड़िन घास चरत फिरिहीं।
15-16 तब तलक अइसा ही होत रही, जब तलक परमेस्सर ऊपर स हमका आपन आतिमा नाहीं देइ। अब धरती पइ कउनो अच्छाई नाहीं अहइ। इ रेगिस्तान स बनी भई अहइ मुला आवइवाले समय मँ इ रेगिस्तान उपजाऊ मैदान होइ जाइ अउर इ उपजाऊ मैदान एक हरे भरे वन जइसा वन जाइ। चाहे जंगल होइ चाहे उपजाऊ धरती हर कहूँ निआव अउ निस्पच्छता मिली। 17 उ नेकी सदा-सदा क बरे सान्ति अउ सुरच्छा क लियाइ। 18 मोर लोग सान्ति क इ सुन्नर छेत्र मँ बसा करिहीं। मोर लोग सुरच्छा क तम्बुअन मँ रहा करिहीं। उ पचे निहचिंतता क संग सान्ति स पूर्ण जगहन मँ निवास करिहीं।
19 किन्तु इ सबइ बातन घटइँ एहसे पहिले उ वन क गिरब होइ। उ नगर क पराजित होइ क होइ। 20 तू पचन्मँ स कछू लोग हर जलधारा क निअरे बिआ बोवत अहा। तू पचे आपन मवेसियन अउ आपन गदहन क एहर-ओहर चरइ बरे खुला छोड़ देत अहा। तू लोग बहोत खुस रहब्या।
इफिसुस की कलीसिया क मसीह क संदेस
2 “इफिसुस क कलीसिया क सरगदूत क इ लिखा:
“उ जउन अपने दाहिने हाथे मँ सात तारन क धारन करत ह अउर जउन सात दीपाधारन क बीच घूमत ह, इ तरह कहत अहइ
2 “मइँ जानत अहउँ जउन तू करत अहा अउर, कड़ी मेहनत अउर धीरज भरी सहनसीलता क जानित हउँ अउर मइँ इहइ जानित हउँ कि तू बुरा मनइयन क राह नाही पउत्या अउर तू ओनका परखे अहा जउन कहत अहइँ कि उ पचे प्रेरितन बाटेन मुला सही मँ नाही अहइँ। तू ओनका झूठा पाए अहा। 3 मइँ जानित हउँ कि तोहरे मँ धीरज अहइ अउर मोरे नाउँ प तू कठिनाई झेले अहा। अउर तू थका नाहीं अहा।
4 “मुला मोरे लगे तोहरे विरोध मँ इ अहइ: तू पिरेम छोड़ दिहे अहा जउन सुरुआत मँ तोहरे मँ रहा। 5 इ बरे याद करा कि तू कहाँ स गिर अहा, आपन मनफिराव अउर उ करा जेका तू सुरुआत मँ करत रह्या, जदि तू पछतावा न करब्या तउ मइँ तोहरे लगे आउब अउर तोहरे दीपाधार क ओकरी जगह स हटाइ देब। 6 मुला इ बात तोहरे हित मँ अहइ कि तू नीकुलइयन[a] क काम स नफरत करत अहा, जेनसे मइँ भी नफरत करत हउँ।
7 “जेकरे लगे कान अहइँ, उ ओका सुनइँ जउन आतिमा कलीसियन स कहत अहइ। जे विजय पाई मइँ उही परमेस्सर क बगिया मँ लगा जीवन क पेड़ स फल खाइ क अधिकार देब।
स्मुरना की कलीसिया क मसीह क संदेस
8 “स्मुरना क कलीसिया क सरगदूत क इ लिखा:
“उ जउन पहिला अहइ अउर जउन आखिरी अहइ जउन मर ग रहा अउर फिन स जी उठा।
9 “उ कहेस मइँ तोहरे साथ जउन अत्याचार भवा ओका अउर तोहरी दीनता दुइनउँ क जानत हउँ वइसे तू धनवान अहा। जउन खुद क यहूदी कहत अहा, अउर जउन तोहार निन्दा करे अहइ, मइँ ओका भी जानत हउँ। यद्यपि ओन्हन सही सही यहूदी न अही। बल्कि उ पचे सइतान क आराधनालय अहइँ जउन सइतान स संबंध रखित ह। 10 उ अत्याचार स तोहका ड़ेराय क जरुरत नाही अहइ, जउने क तोहका सहइ क अहइ। सुना, सइतान तोहरे मँ स कछू जने क बंदीगृह मँ डाइके तोहार परीच्छा लेइ जात अहइ। अउर तोहका हुवाँ दस दिन तक कस्ट भोगइ क अहइ। चाहे तोहका मर जाइ क पड़इ मुला सच्चा बना रह्या तबइ तोहका जीवन वाला मुकुट देब।
11 “जउन सुन सकत ह, सुन लेइ कि आतिमा कलीसियन स का कहत अहइ। जउन जीत जाई ओका दूसरी मउत स कउनउँ नुकसान न उठावइ क पड़ी।
पिरगमुन की कलीसिया क मसीह क संदेस
12 “पिरगमुन क कलीसिया क सरगदूतन क इ लिखा:
“उ जउन तेज दोधारी तलवार क धरत अहइ उ इ तरह स कहत ह:
13 “मइँ जानत हउँ कि तू कहाँ रहत बाट्या जहाँ सइतान क सिंहासन बाटइ। अउर मइँ इहउ जानत हउँ कि तू मोरे नाउँ प स्थिर अहा, अउर तू मोरे बरे आपन बिसवास क कबहुँ जकारया नाहीं। तोहरे उ नगर मँ जहाँ सइतान क निवास अहइ, मेरा बिसवासपूर्ण साच्छी अन्तिपास मार दीन्ह गवा रहा।
14 “मुला मइँ तोरे बिरोध मँ कछू कहइ चाहत हउँ: तोहरे हिआँ कछू अइसे लोग बाटेन जउन बिलाम क सिच्छा क मानत ही। उ बालाक क सिखावत रहा कि इस्राएलियन क मूर्तियन क चड़ावा खाइ अउर व्यभिचार करइ क प्रोत्साहित करइ। 15 अइसे तोहरे हिआँ भी कछू अइसे मनइयन अहइँ जउन नीकुलइयन क सीख प चलत अहइँ। 16 एह बरे मनफिरावा नाहीं तउ मइँ जल्दी ही तोहरे पास आउब अउर ओनके बिरोध मँ उस तलवार स युद्ध करबइ जउन मोरे मुँह स निकरत बाटइ।”
17 “जउन सुन सकत ह, सुन लेइ कि आतिमा कलीसियन स का कहत अहइ।
“जउन बिजयी होई मइँ हर एक क गुप्त मन्ना देब। मइँ ओका एक सफेद पाथर देब जेह पइ एक नवा नाउँ लिखा होई। जेका ओकरे अलावा अउर कउनउँ नाही जानत अहइ, जेका उ दीन्ह गवा बाटइ।
थूआतीरा क कलीसिया क मसीह क संदेस
18 “थूआतीरा क कलीसिया क सरगदूतन क नाउँ इ लिखा:
“परमेस्सर क पूत, जेकर आँखिन धधकती आग क समान बाटिन, अउर जेकर पैर चमकते काँसा क जइसे अहइँ, इ कहत अहइ:
19 “मइँ तोहरे कारज, पिरेम, बिसवास, सेवा अउर धैर्य क जानत हउँ। मइँ इहउँ जानत हउँ कि तोहार वर्तमान कारज विगत कारज स अधिक होत बाटइ। 20 मुला मइँ तेरे विरोध मँ कछू कहइ चाहत हउँ; तू उ स्त्री इजेबेल क अपने मध्य रहइ देता अहा, जउन अपने आपको नबीया कहत ह। मुला मोरे सेवकन क व्यभिचार करइ अउर मूर्तियन क आगे चड़ाई भइ चीजन क खाइ बरे सिच्छा देत अहइ। 21 मइँ ओका मनफिरावा क अवसर दिहे अहउँ। मुला उ अपने व्यभिचार स मनफिरावा नाहीं चाहत।
22 “अउर मइँ ओंका रोग चारपाई प डाउब। अउर जे ओकरे साथ व्यभिचार करत अहइँ तउ उ तरह क कस्ट अउर दिक्कत भोगइँ जब तलक अपने काम क पछतावा न कइलेइँ। 23 मइँ महामारी फैलाइके ओकरे लरिकन क मारि डाउब अउर सब कलीसियन क पता चल जाइ कि मइँ उहइ अहउँ जउन सब मनइयन क मन अउर बुद्धि क जानत अहइ। मइँ तोहका सबका तोहरे काम क हिसाब स फल देबइ।
24 “अब मोका थूआतीरा क बाकी बचे क कछू मनइयन स कछू कहइ क अहइ कि जे इस सीख प नाहीं चलतेन अउर जउन सइतान क अउर ओकरे छिपी बातन क नाहीं जानत अहइँ। मइँ तोहरे ऊपर अउर कउनो बोझा नाहीं ड़ावा चाहत अहउँ। 25 मुला जउन कछू तोहरे लगे अहइ, ओह प मोरे आवइ तक चलत रहा।
26 “जउन मनई जीत हासिल करी अउर जउन बातन क मइँ आदेस दिहे अहउँ अखिरी दम तक मोर आदेस पर टिका रही, जेहका मइँ चाहत अहउँ ओका मइँ राष्ट्रन पर अधिकार देत हउँ। 27 तथा उ ओनके ऊपर लोहे क ड़ण्ड़े स सासन करी। उ ओनका माटी क भाँड़न क तरह चूर चूर कइ देई। 28 इ उहइ अधिकार अहइ जेका मइँ अपने परमपिता स पाए अहउँ। मइँ अइसे मनई क भोर क तारा देब। 29 जेकरे पास कान अहइँ, उ सुन लेइँ कि आतिमा कलीसियन स का कहत अहइ।
Awadhi Bible: Easy-to-Read Version. Copyright © 2005 Bible League International.