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M’Cheyne Bible Reading Plan

The classic M'Cheyne plan--read the Old Testament, New Testament, and Psalms or Gospels every day.
Duration: 365 days
New Chhattisgarhi Translation (नवां नियम छत्तीसगढ़ी) (NCA)
Version
Error: Book name not found: 1Chr for the version: New Chhattisgarhi Translation (नवां नियम छत्तीसगढ़ी)
याकूब 4

तुमन म लड़ई अऊ झगरा कहां ले आ गीस? का एमन तुम्‍हर संसारिक ईछा ले नइं आवंय, जऊन मन तुम्‍हर भीतर लड़त-भिड़त रहिथें? तुमन कुछू चीज ला पाय के आसा रखथव, पर तुमन ला नइं मिलय। तुमन मनखे के हतिया करथव अऊ लालच करथव, अऊ जऊन कुछू के ईछा रखथव, ओह तुमन ला नइं मिलय। तुमन लड़थव-झगरथव। तुमन ला नइं मिलय, काबरकि तुमन परमेसर ले नइं मांगव। जब तुमन मांगथव, त तुमन ला नइं मिलय, काबरकि तुमन गलत मनसा ले मांगथव कि ओला अपन भोग-बिलास म उड़ा देवव।

हे छिनारी करइया मनखेमन, का तुमन नइं जानव कि संसार ले मितानी करई के मतलब परमेसर ले बईरता करई ए? जऊन कोनो संसार के संगवारी होय चाहथे, ओह अपन-आप ला परमेसर के बईरी बनाथे। का तुमन ए समझथव कि परमेसर के बचन ह बिगर कारन के कहिथे कि जऊन आतमा ला ओह हमन म बसाय हवय, ओकर दुवारा जलन पैदा होवय। ओह तो अनुग्रह देथे। एकर कारन परमेसर के बचन ह कहिथे:

“परमेसर ह घमंडीमन के बिरोध करथे,
    पर दीन-हीन मनखेमन ऊपर अनुग्रह करथे।”[a]

एकरसेति तुमन परमेसर के बस म रहव, अऊ सैतान के सामना करव, त सैतान ह तुम्‍हर करा ले भाग जाही। परमेसर के लकठा म आवव, त ओह घलो तुम्‍हर लकठा म आही। हे पापी मनखेमन, अपन हांथ ला धोवव, अऊ हे ढोंगी मनखेमन, अपन हिरदय ला सुध करव। दुःखी होवव, अऊ सोक करव अऊ रोवव। तुम्‍हर हंसई ह सोक म अऊ तुम्‍हर आनंद ह उदासी म बदल जावय। 10 परभू के आघू म दीन-हीन बनव, त ओह तुमन ला बढ़ाही।

11 हे भाईमन हो, एक-दूसर ला बदनाम झन करव। जऊन ह अपन भाई के बदनामी करथे अऊ अपन भाई ऊपर दोस लगाथे, ओह परमेसर के कानून ला बदनाम करथे अऊ कानून ऊपर दोस लगाथे। जब तेंह कानून ऊपर दोस लगाथस, त तेंह कानून म चलइया नइं, पर ओकर ऊपर हाकिम ठहिरे। 12 कानून के देवइया अऊ नियाय करइया एकेच झन अय अऊ ओह परमेसर ए, जेकर करा बचाय अऊ नास करे के सामरथ हवय। पर तेंह कोन अस कि अपन पड़ोसी ऊपर दोस लगाथस?

घमंड के बिरोध म चेतउनी

13 सुनव, तुमन जऊन मन ए कहिथव कि आज या कल हमन कोनो अऊ सहर म जाके उहां एक बछर रहिबो, अऊ काम-धंधा करके पईसा कमाबो। 14 तुमन ए नइं जानत हव कि कल का होही। तुम्‍हर जिनगी ह का ए? तुमन त भाप के सहीं अव, जऊन ह छिन भर दिखथे, अऊ तब लोप हो जाथे। 15 एकर बदले, तुमन ला ए कहना चाही कि कहूं परभू के ईछा होही, त हमन जीयत रहिबो अऊ ए या ओ बुता ला करबो। 16 पर तुमन अपन डींग मारथव अऊ घमंड करथव। अइसने जम्मो घमंड के बात ह गलत ए। 17 एकरसेति, जऊन मनखे ह भलई करे ला जानथे अऊ नइं करय, ओकर बर एह पाप ए।

Error: Book name not found: Jonah for the version: New Chhattisgarhi Translation (नवां नियम छत्तीसगढ़ी)
लूका 6

बिसराम दिन के परभू

(मत्ती 12:1-8; मरकुस 2:23-28)

बिसराम के दिन यीसू ह खेत म ले होके जावत रिहिस, अऊ ओकर चेलामन ह कुछू बाली ला टोरके ओला अपन हांथ म मिंज-मिंज के खावत जावत रिहिन। तब कुछू फरीसीमन पुछिन, “तुमन अइसने काबर करत हवव, जऊन ला बिसराम के दिन म करना मना अय?”

यीसू ह ओमन ला ए जबाब दीस, “का तुमन परमेसर के बचन म ए नइं पढ़े हवव कि दाऊद ह का करिस, जब ओला अऊ ओकर संगवारीमन ला भूख लगिस? ओह परमेसर के घर म गीस, अऊ भेंट चघाय रोटी ला लेके खाईस, जऊन ला पुरोहितमन के छोंड़ आने मनखे के खाना कानून के बिरूद्ध रिहिस। अऊ ओह अपन संगवारीमन ला घलो ओ रोटी म ले कुछू खाय बर दीस।” तब यीसू ह ओमन ला कहिस, “मनखे के बेटा ह बिसराम दिन के परभू अय।”

एक आने बिसराम के दिन यीसू ह सभा घर म गीस अऊ उपदेस देवत रिहिस। उहां एक झन मनखे रिहिस जेकर जेवनी हांथ ह सूखा गे रहय। फरीसी अऊ कानून के गुरू मन यीसू ऊपर दोस लगाय के बहाना खोजत रहंय, एकरसेति ओमन धियान लगाके देखत रहंय कि ओह सूखा हांथवाले मनखे ला बिसराम के दिन म बने करथे कि नइं। पर यीसू ह ओमन के मन के बात ला जानत रिहिस अऊ ओह सूखा हांथवाले मनखे ला कहिस, “उठ अऊ जम्मो झन के आघू म ठाढ़ हो जा।” ओ मनखे ह उठिस अऊ उहां ठाढ़ हो गीस।

तब यीसू ह ओमन ला कहिस, “मेंह तुमन ला पुछत हंव – बिसराम के दिन म का करना उचित ए – भलई करई या बुरई करई, जिनगी बचई या जिनगी नास करई?”

10 यीसू ह चारों कोति ओ जम्मो झन ला देखिस अऊ तब ओ मनखे ला कहिस, “अपन हांथ ला बढ़ा।” ओह वइसने करिस, अऊ ओकर हांथ ह पूरा-पूरी ठीक हो गीस। 11 पर फरीसी अऊ कानून के गुरू मन बहुंत नराज होईन अऊ एक-दूसर के संग बिचार करन लगिन कि यीसू के संग का करे जावय।

बारह प्रेरितमन

(मत्ती 10:1-4; मरकुस 3:13-19)

12 एक दिन यीसू ह पहाड़ ऊपर पराथना करे बर गीस, अऊ परमेसर ले पराथना करत जम्मो रात बिताईस। 13 जब बिहान होईस, त ओह अपन चेलामन ला बलाईस अऊ ओम के बारह झन ला चुन लीस अऊ ओमन ला प्रेरित कहिस: 14 ओमन ए अंय – सिमोन (जेकर नांव यीसू ह पतरस रखिस), सिमोन के भाई अन्द्रियास, याकूब, यूहन्ना, फिलिप्पुस, बरतुलमै, 15 मत्ती, थोमा, हलफई के बेटा याकूब, सिमोन जऊन ला जेलोतेस कहे गीस, 16 याकूब के बेटा यहूदा, अऊ यहूदा इस्करियोती जऊन ह यीसू संग बिस‍वासघात करिस।

आसिस अऊ सराप

(मत्ती 5:1-12)

17 यीसू ह अपन चेलामन संग पहाड़ ले उतरिस अऊ एक समतल जगह म ठाढ़ हो गीस। उहां ओकर चेलामन के एक बड़े भीड़ रहय अऊ जम्मो यहूदिया प्रदेस, यरूसलेम सहर, अऊ सूर अऊ सैदा के समुंदर तीर ले बहुंत मनखे जुरे रिहिन। 18 ओमन यीसू के उपदेस ला सुने बर अऊ अपन बेमारीमन ले छुटकारा पाय बर आय रिहिन। अऊ परेत आतमा के सताय मनखेमन घलो बने हो गीन। 19 जम्मो मनखेमन यीसू ला छुए के कोसिस करत रिहिन, काबरकि ओकर ले सामरथ निकरत रिहिस अऊ ओ जम्मो ला बने करत रिहिस।

20 अपन चेलामन कोति देखके यीसू ह कहिस,

“धइन अव तुमन, जऊन मन गरीब अव,
    काबरकि परमेसर के राज तुम्‍हर ए।
21 धइन अव तुमन, जऊन मन अभी भूखा हवव, काबरकि तुमन ला संतोस करे जाही।
    धइन अव तुमन, जऊन मन अभी रोवत हव,
        काबरकि तुमन हंसहू।
22 धइन अव तुमन, जब मनखे के बेटा के कारन मनखेमन तुम्‍हर ले घिन करथें
    अऊ तुमन ला निकार देथें
    अऊ तुम्‍हर निन्दा करथें
        अऊ तुम्‍हर नांव ला खराप जानके काट देथें।

23 ओ दिन खुसी मनावव अऊ आनंद के मारे कूदव, काबरकि तुम्‍हर बर स्‍वरग म एक बड़े इनाम रखे हवय। ओमन के पुरखामन अगमजानीमन के संग अइसनेच बरताव करे रिहिन।

24 पर हाय लगे तुमन ऊपर,
    जऊन मन धनवान अव,
काबरकि तुमन अपन सुख भोग चुके हवव।
25 हाय लगे तुमन ऊपर,
    जऊन मन अभी भरपेट खावथव,
काबरकि तुमन भूखा रहिहू।
    हाय लगे तुमन ऊपर, जऊन मन अभी हंसथव,
        काबरकि तुमन सोक मनाहू अऊ रोहू।
26 हाय लगे तुमन ऊपर, जब जम्मो मनखे तुम्‍हर बड़ई करथें,
    काबरकि ओमन के पुरखामन लबरा अगमजानीमन के संग अइसनेच करे रिहिन।”

बईरीमन बर मया

(मत्ती 5:38-48; 7:12)

27 “पर मेंह तुमन ला जऊन मन मोर गोठ ला सुनत हव, ए कहत हंव: अपन बईरीमन ले मया करव; ओमन के भलई करव जऊन मन तुमन ले घिन करथें। 28 ओमन ला आसिस देवव, जऊन मन तुमन ला सराप देथें; ओमन बर पराथना करव, जऊन मन तुम्‍हर संग गलत बरताव करथें। 29 कहूं कोनो तुम्‍हर एक गाल म थपरा मारथे, त ओकर कोति दूसर गाल ला घलो कर देवव। कहूं कोनो तुम्‍हर ओढ़ना ला ले लेथे, त ओला तुम्‍हर कुरता लेय बर झन रोकव। 30 जऊन कोनो तुम्‍हर ले मांगथे, ओला देवव; अऊ कहूं कोनो तुम्‍हर चीज ला ले जावय, त ओला वापिस झन मांगव। 31 जइसने तुमन चाहथव कि मनखेमन तुम्‍हर संग करंय, वइसने तुमन घलो ओमन के संग करव।

32 यदि तुमन ओमन ले मया करथव, जऊन मन तुम्‍हर ले मया करथें, त तुम्‍हर का बड़ई? काबरकि पापीमन घलो अपन ले मया करइयामन ले मया करथें। 33 अऊ यदि तुमन ओमन के भलई करथव, जऊन मन तुम्‍हर भलई करथें, त तुम्‍हर का बड़ई? काबरकि पापीमन घलो अइसने करथें। 34 अऊ यदि तुमन ओमन ला उधार देथव, जऊन मन ले तुमन वापिस पाय के आसा करथव, त तुम्‍हर का बड़ई? काबरकि पापीमन घलो पापीमन ला ए आसा म उधार देथें कि ओमन ला पूरा-पूरी वापिस मिलही। 35 पर अपन बईरीमन ले मया करव, ओमन के भलई करव, अऊ बिगर कुछू चीज वापिस पाय के आसा म ओमन ला उधार देवव। तभे तुमन ला बड़े इनाम मिलही, अऊ तुमन परम परधान परमेसर के बेटा होहू, काबरकि ओह गुन नइं चिनहइया अऊ दुस्‍ट मनखेमन ऊपर दया करथे। 36 दयालु बनव, जइसने तुम्‍हर स्वरगीय ददा ह दयालु ए।”

आने ऊपर दोस झन लगावव

(मत्ती 7:1-4)

37 “आने मन के नुक्‍ता-चीनी झन करव, त तुम्‍हर घलो नुक्‍ता-चीनी नइं करे जाही। आने मन ला दोसी झन ठहरावव, त तुमन ला घलो दोसी नइं ठहराय जाही। आने मन ला छेमा करव, त तुमन ला घलो छेमा करे जाही। 38 आने मन ला देवव, त तुमन ला घलो दिये जाही। बने ढंग ले नापके, दबा-दबाके, हला-हला के, अऊ उछरत तुम्‍हर कोरा म डारे जाही। काबरकि जऊन नाप ले तुमन आने मन बर नापथव, ओही नाप ले तुम्‍हर बर घलो नापे जाही।”

39 यीसू ह ओमन ला ए पटं‍तर घलो कहिस, “का एक अंधरा ह दूसर अंधरा ला रसता देखा सकथे? का ओमन दूनों खंचवा म नइं गिर जाहीं? 40 चेला ह अपन गुरू ले बड़े नइं होवय, पर पूरा सिकछा पाय के बाद ओह अपन गुरू सहीं हो जाथे।

41 तेंह काबर अपन भाई के आंखी के छोटे कचरा ला देखथस, जबकि तेंह अपन खुद के आंखी के बड़े कचरा ला धियान नइं देवस? 42 जब तेंह अपन खुद के आंखी के बड़े कचरा ला नइं देख सकत हस, त अपन भाई ले कइसने कह सकत हस, ‘ए भाई, लान, मेंह तोर आंखी के कचरा ला निकार देथंव?’ हे ढोंगी मनखे! पहिली अपन आंखी के बड़े कचरा ला निकार, तभे तेंह अपन भाई के आंखी के छोटे कचरा ला बने करके देखबे अऊ ओला निकार सकबे।

रूख अऊ ओकर फर

(मत्ती 7:16-20)

43 बने रूख म खराप फर नइं फरय, अऊ न ही खराप रूख म बने फर फरथे। 44 हर एक रूख ह ओकर फर ले पहिचाने जाथे। काबरकि मनखेमन कंटिली झाड़ीमन ले अंजीर के फर नइं टोरंय, अऊ न ही झरबेरी रूख ले अंगूर। 45 बने मनखे ह अपन दिल के बने भंडार ले बने बात ला निकारथे, अऊ खराप मनखे ह अपन दिल के खराप भंडार ले खराप बात ला निकारथे। काबरकि जऊन बात ले ओकर दिल भरे रहिथे, ओहीच ला अपन मुहूं ले गोठियाथे।

बुद्धिमान अऊ मुरुख मनखे के पहिचान

(मत्ती 7:24-27)

46 जब तुमन मोर कहे ला नइं मानव, त मोला काबर ‘हे परभू, हे परभू’ कहिथव? 47 जऊन ह मोर करा आथे, अऊ मोर गोठमन ला सुनथे अऊ ओला मानथे – मेंह तुमन ला बतावत हंव कि ओह काकर सहीं अय। 48 ओह ओ घर बनइया मनखे सहीं अय, जऊन ह भुइयां ला गहिरा कोड़िस अऊ चट्टान ऊपर नींव डारिस। जब बाढ़ (पुरा) आईस अऊ पानी ओ घर ले टकराईस, पर ओला हलाय नइं सकिस, काबरकि ओ घर ह मजबूत बने रिहिस। 49 पर जऊन ह मोर गोठ ला सुनथे अऊ ओला नइं मानय, ओह ओ मनखे के सहीं अय, जऊन ह भुइयां म बिगर नींव डारे घर बनाईस, अऊ जब बाढ़ के पानी ओ घर ले टकराईस, त ओह गिरके बरबाद हो गीस।”

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