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स्‍वरग म हमर निवास

हमन जानथन कि ए संसारिक देहें जऊन म हमन रहिथन, जब नास करे जाही, तब परमेसर कोति ले हमन ला एक घर मिलही; अऊ एह स्‍वरग म सदाकाल के घर ए, जऊन ह मनखे के हांथ के बनाय नो हय। इहां रहत हमन दुःख म कल्हरत हवन अऊ हमर स्वरगीय घर ला पाय के ईछा रखथन। अऊ जब हमन ए घर म रहिबो, त हमन नंगरा नइं पाय जाबो। ए देहें म रहे के दौरान, हमन कल्हरत रहिथन अऊ बोझ ले दबे रहिथन, काबरकि हमन बिगर कपड़ा पहिरे नइं रहे चाहन, पर हमन स्वरगीय घर ला पहिरे चाहथन, ताकि नासमान देहें ह सदाकाल के जीयत देहें म बदल दिये जावय। ए उदेस्य खातिर जऊन ह हमन ला बनाय हवय, ओह खुद परमेसर ए अऊ ओह हमन ला सदाकाल के घर के गारंटी के रूप म पबितर आतमा दे हवय।

एकरसेति, हमन हमेसा भरोसा करथन अऊ जानथन कि जब तक हमन ए देहें म रहिथन, तब तक हमन परभू ले दूरिहा हवन। अब हमन कोनो चीज ला देखके नइं, पर बिसवास के दुवारा चलथन। हमन ला भरोसा हवय अऊ हमन ए देहें ले अलग होके परभू के संग रहई अऊ बढ़िया समझथन। एकरसेति, चाहे हमन ए देहें म रहन या एकर ले अलग रहन, हमर उदेस्य ए अय कि हमन परभू ला खुस रखन। 10 काबरकि हमन जम्मो झन ला मसीह के नियाय आसन के आघू म जाना जरूरी ए, ताकि हर एक मनखे सरीर म रहत, जऊन काम करे हवय, चाहे भलई के काम होवय या बुरई के, ओला ओकर परतिफल मिलय।

मेल-मिलाप के सेवा

11 एकरसेति, परभू के भय ला जानके, हमन मनखेमन ला मनाय के कोसिस करथन। हमन का अन, एला परमेसर ह जानथे अऊ मोला आसा हवय कि तुम्‍हर बिवेक घलो एला जानथे। 12 हमन तुम्‍हर आघू म फेर अपन-आप के बड़ई करे के कोसिस नइं करथन, पर हमन तुमन ला हमर बारे म घमंड करे के एक मऊका देवत हवन; ताकि तुमन ओमन ला जबाब दे सकव, जऊन मन मनखे के सुघर चाल-चलन ऊपर नइं, पर मनखे के पद ऊपर घमंड करथें। 13 यदि हमन सुध-बुध खो दे हवन, त एह परमेसर खातिर ए, अऊ यदि हमन सुध-बुध म हवन, त एह तुम्‍हर खातिर ए। 14 मसीह के मया ह हमन ला बाध्य करथे। हमन समझ गे हवन कि एक झन ह जम्मो झन बर मरिस अऊ एकरसेति जम्मो झन मर गीन। 15 अऊ ओह जम्मो झन बर मरिस ताकि जऊन मन जीयथें, ओमन अब अपन बर नइं, पर मसीह बर जीयंय, जऊन ह ओमन बर मरिस अऊ फेर जी उठिस।

16 एकरसेति, हमन अब संसारिक नजर ले काकरो बारे म अपन बिचार नइं रखन। हालाकि एक समय रिहिस जब मसीह के बारे म, हमर ए किसम के बिचार रिहिस, पर हमन अब अइसने नइं करन। 17 यदि कोनो मनखे मसीह म हवय, त ओह एक नवां सिरिस्टी ए। पुराना बात खतम हो गीस, अऊ जम्मो बात ह नवां हो गे हवय। 18 ए जम्मो ह परमेसर के दुवारा होईस, जऊन ह मसीह के जरिये अपन संग हमर मेल-मिलाप करिस अऊ हमन ला मेल-मिलाप के सेवा दीस। 19 एकर मतलब ए कि परमेसर ह मसीह के जरिये अपन संग जम्मो मनखेमन के मेल-मिलाप करिस अऊ ओह मनखेमन ऊपर ओमन के पाप के दोस नइं लगाईस। अऊ ओह मेल-मिलाप के संदेस के परचार के जिम्मेदारी हमन ला दीस।

20 एकरसेति, हमन मसीह के राजदूत अन, मानो परमेसर ह हमर जरिये तुमन ले बिनती करत हवय। मसीह कोति ले, हमन तुम्‍हर ले बिनती करथन कि परमेसर के संग मेल-मिलाप कर लेवव। 21 मसीह ह कोनो पाप नइं करे रिहिस, पर हमर हित म, परमेसर ह हमर पाप ला ओकर ऊपर डार दीस ताकि मसीह के जरिये परमेसर के धरमीपन ह हमन म आ जावय।